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घर हो तो ऐसा

पहाड़, झरने, नदी और लोकल अनुभव, तीर्थन घाटी में मिट्टी का यह सस्टेनेबल होमस्टे देगा सबकुछ

By पूजा दास

क्या आप तीर्थन घाटी में पारंपरिक हिमाचली होमस्टे की तलाश कर रहे हैं? तो आपकी तलाश डाल्टन्स विलेज पर समाप्त होती है, जहां आपको विशुद्ध हिमालयी और सस्टेनेबल लाइफ के साथ कुछ मजेदार एक्टिवीटीज़ का अनुभव लेने का पूरा मौका मिलेगा।

हमें अपने फैसले पर कभी अफसोस नहीं हुआ; दिल्ली छोड़ हिमाचल में बनाया काठ-कुनी होमस्टे

By पूजा दास

सुचिता और विकास त्यागी ने दिल्ली की भाग-दौड़ को छोड़ पहाड़ों के बीच बसने का फैसला किया। जिसके बाद, उन्होंने हिमाचल की सैंज घाटी में ग्रेट हिमालयन नेशनल पार्क के बीच, पारंपरिक काठ कुनी आर्किटेक्चर का इस्तेमाल करते हुए एक खूबसूरत इको-फ्रेंड्ली होमस्टे बनाया है।

ज़ीरो सीमेंट से बने इस पर्यावरण के अनुकूल घर में, कुर्सियां तक बनी हैं पत्थर से

By पूजा दास

लोकप्रिय मलयालम लेखिका एचमुकुट्टी और उनके आर्किटेक्ट पति पद्मकुमार ने केरल में एक इको-फ्रेंड्ली घर बनाया है। रिसायकल की गई ईंटों, पत्थरों, मिट्टी, रिसायकल की गई फ्रेम और कांच से बने इस घर के हर कोने में प्रकृति का रूप झलकता है।

बारिश के पानी से करते हैं बोरवेल रिचार्ज, सालभर पड़ोसियों को भी नहीं होती पानी की किल्लत

By प्रीति टौंक

करीबन 10 साल पहले, मुंबई के चेतन सूरेंजी के इलाके में बना बोरवेल अक्सर गर्मियों में सूख जाया करता था, जिससे पानी की बड़ी समस्या रहती थी। लेकिन बारिश का पानी बचाने के उनके प्रयासों से आज उनके साथ-साथ, उनके पड़ोसियों को भी सालभर पानी की दिक्कत नहीं होती।

71 साल पुराने घर को बदलकर बनाया होमस्टे, बिजली नहीं फिर भी है बेहद खास

By पूजा दास

जफर और रेशमा सलीम पिछले दो दशकों से केरल के वायनाड में अन्नपारा होमस्टे चला रहे हैं। इस होमस्टे की खासियत यह है कि यह पूरी तरह से सस्टेनेबल है। 71 साल पुरानी यह इमारत, पहले एक लेबर क्वार्टर थी, जिसे बदलकर होमस्टे बनाया गया है।

मुंबई से लौटे नासिक, पारंपरिक तरीके से बनाया अपने सपनों का इको-फ्रेंडली फार्म स्टे

By पूजा दास

नासिक में यूटोपिया फार्मस्टे पूरी तरह से पर्यावरण को ध्यान में रखते हुए बनाया गया है। इस फार्म को बनाने वाले अद्वैत और उत्तरा खेर बताते हैं कि स्थायी जीवन जीने के लिए कैसे उन्होंने अपनी नौकरी छोड़ दी।

IT इंजीनियर ने बनाई एक ऐसी टाउनशिप जहां सीमेंट के नहीं, बनेंगे सिर्फ मिट्टी के घर

By प्रीति टौंक

बेंगलुरु के पास बना NSR Green Woods एक ईको-फ्रेंडली टाउनशिप है, जो बिजली और पानी के लिए किसी पर आधारित नहीं और यहाँ बने हर घर में एक किचन गार्डन भी है। इस टाउनशिप के संस्थापक राघव राव ने आईटी कंपनी की नौकरी छोड़कर, साल 2015 में इसकी शुरुआत की थी।

अब बाढ़ में नहीं डूबेगा किसी का घर! केरल के दो दोस्तों ने बनाये पानी पर तैरने वाले मकान

By पूजा दास

केरल के रहनेवाले नानमा गिरीश और बेन के. जॉर्ज ने एक अनोखा स्टार्ट-अप शुरू किया है। नेस्टएबाइड नाम के स्टार्ट-अप के जरिए वे ऐसी इमारतों का निर्माण कर रहे हैं, जो पानी पर तैर सकते हैं।

कश्मीर का पहला इको विलेज, जहां हैं मिट्टी के घर, ऑर्गेनिक खेत और जीरो-वेस्ट लाइफ

By पूजा दास

कश्मीर के गांदरबल के रहनेवाले फैयाज अहमद डार ने घाटी में पहला और एकमात्र इको-विलेज बनाया है। फैयाज का मकसद सस्टेनेबल पर्यटन और घाटी की संस्कृति व विरासत को बढ़ावा देना है।

"IIT से ज़्यादा मुश्किल है मिट्टी का घर बनाना!" विदेश की नौकरी छोड़ गाँव में बस गया यह कपल

By प्रीति टौंक

उज्जैन से करीब 50 किमी दूर बड़नगर में बना एक नेचुरल फार्म स्टे- जीवंतिका को दो आईआईटी टॉपर्स साक्षी भाटिया और अर्पित माहेश्वरी ने अपने जीवन के अनुभवों से बनाया है।