Powered by

Latest Stories

HomeTags List मनीष गुप्ता

मनीष गुप्ता

हम वही काट रहे हैं जो बोया है!

By मनीष गुप्ता

(अ)सभ्यता का आरम्भ /का अंत... हमारी बदलती सम्भयता पर मनीष गुप्ता की दिल दहला देने वाली कविता सुनिए। साथ ही पढ़िए कैसे आम आदमी अपनी ही कुपरिस्तिथि का ज़िम्मेदार है.