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प्रीति टौंक

मूल रूप से झारखंड के धनबाद से आनेवाली, प्रीति ने 'माखनलाल पत्रकारिता यूनिवर्सिटी' से पत्रकारिता में मास्टर्स किया है। ऑल इंडिया रेडियो और डीडी न्यूज़ से अपने करियर की शुरुआत करने वाली प्रीति को, लेखन के साथ-साथ नयी-नयी जगहों पर घूमने और अपनी चार साल की बेटी के लिए बेकिंग करने का भी शौक है।

एक कश्मीरी पंडित परिवार, जो अपना सबकुछ गंवाकर भी बना 360 बेज़ुबानों का सहारा

By प्रीति टौंक

मिलिए जम्मू के हक्कल गांव में जानवरों के लिए शेल्टर होम चला रहे हखू परिवार से, जो साल 1993 से घायल जानवरों की सेवा कर रहे हैं।

कला से बदली कचरे की सूरत, मज़दूर महिला ने खड़ा किया अपना ब्रांड, दूसरों को भी दिया रोज़गार

By प्रीति टौंक

कच्छ की रहने वाली राजीबेन वांकर प्लास्टिक वेस्ट से बनाती हैं अलग-अलग प्रोडक्ट्स। कभी मजदूरी करने वाली इस महिला ने कैसे शुरू किया खुद का ब्रांड। जानना चाहेंगे?

शौक के लिए नदी किनारे पड़े पत्थरों से बनाते थे क्रिएटिव चीजें, वही हुनर बना कमाई का जरिया

By प्रीति टौंक

महाराष्ट्र के परभणी जिले के एक छोटे से गांव वाजुर के रहनेवाले प्रल्हाद पवार, नदी के किनारे पड़े पत्थरों से कई रचनात्मक कलाकृतियां बनाते हैं। उनकी यह कला आज जिले की शान बन गई है।

गोबर बना गांव की 25 महिलाओं के रोजगार का जरिया, घर बैठे बनाती हैं इससे दीये और गमले

By प्रीति टौंक

दिल्ली के अनीश और अल्का शर्मा ने अपनी दोस्त पूजा पूरी के साथ मिलकर, पिछले डेढ़ साल से बागपत जिला की महिलाओं को रोजगार से जोड़ने के काम में लगे हैं। वे अपने NGO PKU CARE FOUNDATION के तहत इन महिलाओं और उनके बच्चों को शिक्षा और वोकेशनल ट्रेनिंग से से भी जोड़ रहे हैं।

Grow Banana: बड़े गमले या बेकार पड़े ड्रम में आसानी से उगाया जा सकता है केले का पेड़

By प्रीति टौंक

पटना में गार्डनिंग करनेवाली प्रभा कुमारी से जानें, केले के पौधे को उगाते समय किन-किन बातों का ध्यान रखना पड़ता है।

द बेटर इंडिया से सीखी कम्पोस्टिंग और टेरेस को बना दिया हरा-भरा गार्डन

By प्रीति टौंक

पटना की रिंकी सिंह ने गार्डनिंग के लिए कम्पोस्ट बनाना 'द बेटर इंडिया' के लेख पढ़कर ही सीखा।

उगाती हैं 100 किस्मों के कमल व 65 किस्मों की लिली, कंद बेचकर कमाती हैं हजारों रुपये

By प्रीति टौंक

केरल की नीतू सुनीश ने अपने शौक़ के लिए कमल और लिली के फूलों को लगाना शुरू किया था। आज उनके घर पर 100 से ज्यादा किस्मों के कमल और 65 किस्मों की लिली मौजूद हैं, जिसके ट्यूबर यानी कंद को बेचकर वह महीने के 10 से 30 हजार रुपये कमा रही हैं।

गृहिणी से बनीं किसान, फिर शुरू किया वर्मीकम्पोस्ट बिज़नेस, कश्मीर तक जाती है इनकी बनाई खाद

By प्रीति टौंक

खेती के साथ सीखा केचुए की खाद बनाना, 20 सालों से जम्मू कश्मीर के फूलों के खेतों में उपयोग होती है इनकी बनाई खाद। पढ़ें इस महिला किसान की गृहिणी से एक बिज़नेसवुमन बनने की कहानी।

इन 10 छोटे-छोटे बदलावों को अपनाकर, आप जी सकते हैं सस्टेनेबल जीवन

By प्रीति टौंक

पढ़िए सस्टेनेबल जीवन जीने के इन 10 तरीकों के बारे में, जिन्हें अपनाकर आप कर सकते हैं पर्यावरण संरक्षण में मदद।