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Waste Management

टूटे हुए पेड़ों और बेकार लकड़ी के टुकड़ों से बनाते हैं Sustainable Furniture

By प्रीति टौंक

वाराणसी के संदीप सरन, 'काठ कागज' नामक होम-स्टूडियो चलाते हैं, जहाँ बेकार पड़ी लकड़ियों का इस्तेमाल कर, वह अपने ग्राहकों की जरूरतों के मुताबिक़ Sustainable Furniture बनाकर देते हैं।

तवा से लेकर टेबल तक, इनका पूरा घर सजा है पुरानी बेकार चीज़ों से, आप भी सीखिए

By निशा डागर

बेंगलुरु की रहने वाली सुशीला राय एक होम बेकर और केक आर्टिस्ट हैं, लेकिन इसके साथ ही, उनके जानने वाले उन्हें 'जुगाड़ क्वीन' भी कहते हैं क्योंकि, पुरानी-बेकार चीजों को नया रूप देकर फिर से इस्तेमाल में लेने में वह माहिर हैं।

नौकरी छोड़ बने किसान, इकट्ठा किया बारिश का पानी, नहीं जलाई पराली, सालाना कमाई हुई 16 लाख

By निशा डागर

करीमनगर, तेलंगाना के रहने वाले मल्लिकार्जुन रेड्डी, सॉफ्टवेयर की नौकरी छोड़कर जैविक खेती कर रहे हैं। उन्हें 'अभिनव किसान पुरस्कार' से भी नवाजा गया है।

E-Waste to Eco-Art: बेकार पड़े गैजेट्स से बना दी पेंटिंग, ज्वेलरी, घड़ी जैसी चीजें

By निशा डागर

बेंगलुरु में रहने वाले 58 वर्षीय विश्वनाथ मल्लाबादी एक इको-आर्टिस्ट हैं, जो पिछले आठ सालों से इलेक्ट्रॉनिक कचरे को अपसायकल करके ज्वेलरी, पेंटिंग, मिनी बिल्डिंग, डमी रोबोट आदि बना रहे हैं।

महिला IAS ऑफिसर की पहल, असम में पुरानी और बेकार 8000 प्लास्टिक की बोतलों से बनाया शौचालय

By निशा डागर

IAS डॉ. लक्ष्मी प्रिया एम एस के निर्देशन में असम के बोंगाईगांव जिले में, पर्यावरण के अनुकूल कई योजनाओं पर काम किया जा रहा है, जैसे- सौर स्ट्रीट लाइट लगाना, कचरे का प्रबंधन आदि। इसके साथ ही, उन्होंने 8000 बेकार प्लास्टिक की बोतलों से, एक सार्वजनिक शौचालय का निर्माण भी कराया है।

महँगी शॉपिंग से ही नहीं, पुराने कपड़ों से भी सजा सकते हैं अपना घर, जानिये कैसे

By निशा डागर

दिल्ली में रहने वाली मीनाक्षी शर्मा पिछले दस सालों से, 'यूज मी' के जरिए लोगों के पुराने और बेकार कपड़ों से सजावट का सामान बनाकर दे रहीं हैं।

#DIY: जानिए कैसे घर पर पड़ी बेकार चीजों से बना सकते हैं ‘होम कंपोस्टिंग बिन'

By निशा डागर

बागवानी के लिए, घर के जैविक कचरे से बनी खाद को उत्तम माना जाता है। जानिए कैसे इस खाद को बनाने के लिए घर पर बना सकते हैं #DIY जीरो बजट कंपोस्टिंग बिन।

ओडिशा: युवाओं की टोली ने पेश की मिसाल, एक महीने में समुद्र-तट साफ़ कर किया कमाल

By निशा डागर

ओडिशा के पुरी में अस्त रंगा बीच को साफ़ करने के लिए सौम्या बिस्वाल और उनके दोस्तों ने एक महीने तक हर दिन 10 से 12 घंटे काम किया है!

छुट्टियों में गाँव घुमने आई थी पोती, मात्र 50 दिनों में पलट दी गाँव की काया

By निशा डागर

राजस्थान में अपने दादा-दादी के पास छुट्टियाँ मनाने आई चेष्टा ने जब गाँव में जगह-जगह कूड़े के ढेर लगे देखे तो कुछ करने की ठानी और देखते ही देखते स्वच्छता अभियान शुरू कर दिया!

क्लीन कुन्नूर: सालों से गंदा नाला बनी नदी को किया साफ, बाहर निकाला 12 हज़ार टन कचरा

By निशा डागर

साल 1930 से ओट्टुपट्टारई में कुनूर शहर का डंपयार्ड रहा है लेकिन नागरिकों और प्रशासन के कुछ महीने के प्रयासों से ही आज यहाँ वेस्ट मैनेजमेंट यूनिट और एक खूबसूरत पार्क है!