शिमला की पहाड़ियों में बसा फार्म स्टे ‘हिमालयन ऑर्चर्ड’ भीड़-भाड़ वाले पर्यटक क्षेत्रों से दूर, शांत वातावरण के बीच बनाया गया है। यहाँ आकर मेहमान हिमाचल की लोकल, देसी और सस्टेनेबल लाइफस्टाइल का अनुभव कर सकते हैं।
बेंगलुरु से 75 किलोमीटर दूर स्थित खूबसूरत ढेंकनी फार्मस्टे, प्रकृति के बीच समय बिताने के लिए बेहतरीन जगह है। इस दो मंज़िला नेचुरल व ईको-फ्रेंडली कॉटेज को लड़की और स्थानीय पत्थरों से बनाया गया है।
महाराष्ट्र में मालवान के रहने वाले आर्किटेक्ट सुमित देवूलकर ने एक अनोखे और सस्टेनेबल तरीके से अपने शहर के टूरिज्म में योगदान देने का फैसला किया और बनाया विहारा होमस्टे। यहाँ आने वाले मेहमान नेचुरल मटेरियल्स से बने घर में रहने के साथ-साथ, स्थानीय संस्कृति को भी जान सकते हैं।
दिल्ली के रहने वाले रवि कौशिक, बढ़ते प्रदूषण को देखते हुए बड़े हुए हैं। बचपन में ही उन्होंने इस समस्या के लिए कुछ करने का फैसला कर लिया था। आख़िरकार, साल 2020 में उन्होंने अपना वह सपना पूरा किया और घर के अंदर की हवा को साफ करने के लिए बनाया AC एयर प्यूरीफायर।
छोटी नदियों और पहाड़ियों के से घिरे ‘किसान ईको फार्मस्टे’ में प्रकृति का बेहद खूबसूरत नज़ारा देखा जा सकता है। मुंबई से थोड़ी ही दूर हरियाली के बीच बसे इस ईको-फ्रेंडली फार्मस्टे में रहने का अनुभव काफ़ी अनोखा है।
मिलिए हरिद्वार की डॉ. अंशु राठी से; जिन्होंने अपनी बेटी को घर की ऑर्गेनिक फल-सब्जियां खिलाने के लिए साल 2013 में गार्डनिंग शुरू की थी। उनके इस सफर में द बेटर इंडिया भी उनका साथी रहा है! जानिए कैसे..
आज़ादी के समय हमारे देश में स्कूलों की संख्या महज एक लाख के करीब थी, जो अब बढ़कर 15 लाख से ज्यादा हो गई है। शिक्षा ही नहीं स्वास्थ्य, सड़क और व्यापर के क्षेत्र में भी देश ने खूब तरक्की की है, जानिए बीते 76 सालों में आए बदलाव की कहानी।
अगर बिजनेस प्लान और हौसला मजबूत हो तो सिर्फ 700 रुपए के निवेश को भी आप एक सफल बिजनस में बदल सकते हैं, इसका उदाहरण हैं अहमदाबाद के तपन ब्रम्हभट्ट, जिन्होंने अकेले बुलेट पर बर्गर बेचकर अपने बिजनस की शुरुआत की और आज 'टम्मी टिकी बर्गर' के मालिक हैं, जो लाखों का टर्नओवर देने वाली कंपनी है।