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आँखें जाने के बाद भी नहीं हारी हिम्मत, 46 वर्षों से बिना किसी मदद चला रहे हैं अपनी दुकान

केरल के पथानमथिट्टा जिले के रहने सुधाकर कुरुप के आँखों की रोशनी 21 वर्ष के उम्र में ही चली गई।

इस खत को पढ़कर आप भावुक हो जाएंगे, जिसे एक IAS बेटी ने अपनी माँ के नाम लिखा है!

IAS अधिकारी सरयू मोहनचंद्रन मूल रूप से केरल की रहने वाली हैं। वह फिलहाल, तमिलनाडु के नीलगिरी जिले में तैनात हैं। कुछ महीने पहले, उन्होंने अपने फेसबुक पर अपनी माँ, खादिजा के लिए एक काफी भावनात्मक पोस्ट साझा किया।

“जरूरतमंदों को पैसे देने के बजाय, खाना देना बेहतर…” मिलिए कोच्चि के इस प्रेरक चायवाले से!

केरल के कोच्चि के रहने वाले ओ.ए. नजर और उनके भाई ओ. ए. शमसुद्दीन, अपने पिता के नक्शेकदम पर चलते हुए, हर दिन कम से कम 10 लोगों को खाना खिलाते हैं।

पायलट की ट्रेनिंग लेने के बाद भी बन गए शेफ, अब बॉलीवुड भी है इनके खाने की दीवानी

By निशा डागर

देहरादून के समीर सेवक एक होम-शेफ हैं जो वीकेंड पर टूरिस्ट और अन्य लोगों से आर्डर लेते हैं और जल्द ही, वह अपना किचन भी शुरू करने वाले हैं!

बेस्ट ऑफ 2020: 10 पर्यावरण रक्षक, जिनकी पहल से इस साल पृथ्वी बनी थोड़ी और बेहतर

इन योद्धाओं का प्रयास आने वाले वर्षों में पर्यावरण संरक्षण की दरकार को बढ़ाने में, महत्वपूर्ण भूमिका अदा करेगा।

प्रेरक कहानी: बचपन में गोबर उठाना पड़ा, अब करोड़ों का करते हैं बिज़नेस, 100 लोगों को देते हैं रोज़गार

हरियाणा के शौफी गाँव के रहने वाले गौरव राणा की। वह ब्यूटी स्टार्टअप कैलेप्सो के संस्थापक हैं और इसके तहत वह न सिर्फ हर साल करोड़ों रुपए की कमाई करते हैं, बल्कि 100 से अधिक लोगों को रोजगार भी दे रहे हैं।

7वीं पास माँ की 'मदद और न्याय' की सीख ने बनाया अधिकारी, पढ़िए एक IPS की संघर्ष भरी कहानी

नागपुर स्थित केंद्रीय जांच ब्यूरो में पुलिस अधीक्षक के रूप में सेवारत आईपीएस निर्मला देवी मूल रूप से तमिलनाडु के कोयंबटूर के अलंदुराई गाँव की रहने वाली हैं।

उम्र 105 वर्ष, काम -जैविक खेती, मिलिए इस दादी से!

जब आज की पीढ़ी 50 साल की उम्र तक रिटायर होने की योजना बना रही है, तो 105 वर्षीय पप्पम्मल की कहानी सिर्फ एक उदाहरण नहीं, बल्कि एक प्रेरणा है, क्योंकि आज भी, हर दिन वह अपने खेती कार्यों को करती हैं।

कैप्टन गोपीनाथ: बैलगाड़ी चलाने से लेकर सबसे सस्ती एयरलाइन चलाने तक का सफर

कैप्टेन गोपीनाथ के प्रयासों से ही आज एक मध्यमवर्गीय व्यक्ति देश के हर बड़े शहर में हवाई यात्रा करने का खर्च उठा सकता है। जानिए उनकी प्रेरक कहानी।