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Differently abled people

बाढ़ में सीखनी पड़ी थी तैराकी, आज रिकॉर्ड बनाकर किया देश का नाम रौशन

By निशा डागर

शम्स आलम एक भारतीय पैरा एथलीट हैं, जिन्होंने पैरा तैराकी में कई रिकॉर्ड अपने नाम किए हैं और कई मैडल भी जीते हैं।

मुंबई: मुफ्त 'डिजिटल हियरिंग एड' प्रदान कर, संवारा 1300 से ज्यादा दिव्यांग बच्चों का जीवन

By निशा डागर

मुंबई की रहने वाली ऑडियोलॉजिस्ट और स्पीच थेरेपिस्ट, देवांगी दलाल ने साल 2004 में, ईएनटी सर्जन, डॉ. जयंत गाँधी के साथ मिलकर 'जोश फाउंडेशन' की शुरुआत की। जिसके जरिए, वे 1300 से ज्यादा जरूरतमंद बच्चों को मुफ्त में 'डिजिटल हियरिंग एड' उपलब्ध करा चुके हैं।

दिव्यांगता को मात दे बनाई अपनी पहचान, खुद अपने लिए किया स्पेशल स्कूटर का आविष्कार!

By निशा डागर

"15 साल की उम्र तक तो मैं अपनी माँ की पीठ पर ही बैठकर सब जगह जाया करता था। लेकिन मुझे यह अच्छा नहीं लगता था कि मैं हर काम के लिए किसी और पर निर्भर रहूं। इसलिए मैंने खुद को आत्मनिर्भर बनाया।"

मिट्टी कैफ़े: खाने के ज़रिए 120 दिव्यांगों की ज़िंदगी बदल रही है यह युवती!

By निशा डागर

'मिट्टी कैफ़े' की सबसे पहली स्टाफ कीर्ति ने जॉब के पहले दिन ही ग्राहक को चाय सर्व करने से पहले दो बार कप गिराया था। लेकिन आज कीर्ति यहाँ पर 4-5 स्टाफ को मैनेज करती हैं!

इन दिव्यांगों के बनाए बल्ब से रौशन हो रहे घर, युवक की पहल ने बदली तस्वीर!

By निशा डागर

डीजीएबल्ड के साथ काम कर रहे लोगों में से बहुत से दिव्यांग ऐसे भी हैं, जिन्हें उनकी ज़िंदगी की पहली कमाई यहीं से मिली है!

अब खुद अपने पैरों पर खड़े हो पाएंगे दिव्यांग, IIT मद्रास ने बनायी ख़ास 'स्टैंडिंग व्हीलचेयर'!

By निशा डागर

दिव्यांग-जनों के लिए यह बहुत ज़रूरी है कि वे नियमित तौर पर खड़े हों ताकि उनके शरीर के निचले भाग का ब्लड सर्कुलेशन और हड्डियां ठीक रहें। लेकिन इससे पहले इसके लिए उन्हें हमेशा दूसरों पर निर्भर रहना पड़ता था।

गहने और प्रॉपर्टी बेचकर बनाया अनाथ दिव्यांगों के लिए घर!

By निशा डागर

किसी भी बच्चे की सबसे बड़ी ख्वाहिश या फिर इच्छा होती है कि उसके पास अपना घर और परिवार हो और इसलिए उन्होंने अपने संगठन का नाम 'इच्छा फाउंडेशन' रखा।

समाज की सोच को बदलने की पहल, 3,000+ दिव्यांगों को बनाया आत्म-निर्भर!

By निशा डागर

गिफ्ट-एबल्ड फाउंडेशन दिव्यांगों और उनके अधिकारों के प्रति समाज में संवेदनशीलता और जागरूकता लाने के लिए भी वर्कशॉप आयोजित करती रहती है।