सप्ताह भर यह दल रात को अपना काम करते है पर सप्ताह के अंत में छुट्टी वाले दिन ये दिन भर इसी काम में जुटे होते है।रात दस बजे के करीब जब शहर का पूर्वी इलाका पार्टी और जश्न के माहौल में डूबा होता है ऐसे में ये युवा इस इलाके के पेड़ो पर लगे किले, इश्तहार तथा बैनर निकालने पहुँच जाते है।