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कैसे बनाएं घर में खाद: जीरो लागत और बिना बदबू के मात्र 40 दिनों में!

प्रकृति हमें बहुत कुछ देती है, क्यों न हम भी प्रकृति को कुछ दें?

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कैसे बनाएं घर में खाद: जीरो लागत और बिना बदबू के मात्र 40 दिनों में!

ब गीला कचरा यानी कि किचन का फ़ूड वेस्ट और पेड़ों के पत्ते आदि जैविक तरीके से डीकम्पोज (अपघटित) होते हैं, तब खाद बनती है। खाद बनाने के तीन मुख्य तरीके हैं: एरोबिक (ऑक्सीजन के साथ), अनएरोबिक (ऑक्सीजन के बिना) और वर्मीकम्पोस्टिंग (बैक्टीरिया की जगह वर्म्स याने केंचुए के उपयोग से)

द बेटर इंडिया ने खाद बनाने के सबसे सामान्य एरोबिक तरीके को समझने के लिए, खाद बनाने की एक्सपर्ट वाणी मूर्ति से बात की। इस प्रक्रिया को आप छोटी से छोटी जगह- जैसे कि आपकी बालकनी में भी कर सकते हैं!

वाणी पिछले 10 सालों से खाद बना रही हैं। वह स्वच्छ गृह (वह घर जहां कम से कम कचरा उत्पन्न हो) को भी अपने जीवन का हिस्सा बना चुकी हैं।

कैसे बनाएं खाद, वह भी बिलकुल शून्य लागत के साथ:

स्टेप 1. किचन के गीले कचरे को एक डिब्बे में डालें

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फल, सब्ज़ियों के छिलके, अंडे के छिलके, कॉफ़ी या फिर चायपत्ती जैसे किचन के कचरे को एक डिब्बे (किसी बाल्टी, ड्रम, मिट्टी का गमला आदि) में डालें। आपकी प्रक्रिया लगातार चलती रहे, इसलिए वाणी के मुताबिक दो डिब्बे रखें। जब एक भर जाए तो दूसरे में डालना शुरू करें।

स्टेप 2. सूखा कचरा मिलाएं

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सूखी पत्तियां, नारियल के छिलके जैसे सूखे कचरे को इकट्ठा करके गीले कचरे में मिलाएं। यह नमी को कंट्रोल करता है।

स्टेप 3. सूक्ष्मजीव मिलाएं

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इस कचरे के अपघटन के लिए ज़रूरी है कि इसमें सूक्ष्मजीव हों। आप सूक्ष्म जीव पैदा करने के लिए इसमें थोड़ा-सा गाय का गोबर मिला सकते हैं। साथ ही, इन सूक्ष्मजीवों की प्रजाति को बढ़ाने के लिए इसमें छाछ मिला सकते हैं!

स्टेप 4. ऑक्सीजन प्रदान करें

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एरोबिक तरीके से खाद बनाने के लिए ज़रूरी है कि इस मिश्रण में ऑक्सीजन हो। ऑक्सीजन होने से बदबू नहीं आएगी और कीड़े भी नहीं पनपेंगे। या तो आप अपने डिब्बे में छोटे-छोटे छिद्र कर सकते हैं या फिर हर चार दिन में इस मिश्रण को ऊपर-नीचे करते रहें।

स्टेप 5. लेयर बनाना

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एरोबिक तरीके से 40 से 45 दिनों में खाद बन जाती है। आपको बस किचन का कचरा इसमें मिलाते रहना है और ध्यान देना है कि ऑक्सीजन फ्लो अच्छे से हो। मिश्रण बहुत ज्यादा गीला लगे, तो इसमें सूखी पत्तियाँ आदि मिला दें।

अंत में वाणी सिर्फ इतना कहती हैं,

"खाद बनाना भी खाना बनाने की तरह ही एक कला है। इसमें गीले कचरे और सूखे कचरे की मात्रा या फिर डिब्बे का साइज़ आदि के लिए कोई नियम-कानून नहीं हैं। आप बस डिब्बे को ढककर रखें और बारिश का पानी इसमें न जाने दें। मुझे यह प्रक्रिया करना बहुत पसंद है क्योंकि सभी साधन आपको मुफ्त में मिल रहे हैं। जब तक आप यह सीख न जाएं बस करते रहें क्योंकि इससे आप अपने 60 प्रतिशत कचरे को पर्यावरण को नुकसान पहुंचाने से रोक सकते हैं।"

यह भी पढ़ें: ‘द बेटर होम’, क्युंकि घर से ही तो होती है हर अच्छाई की शुरुआत!

उम्मीद है कि अब आपको खाद बनाने की प्रक्रिया समझ में आ गयी है, इसलिए आज ही अपने घर पर यह शुरू करें।  साथ ही, अपने दोस्तों और परिवारजनों के साथ भी यह साझा करें और पर्यावरण को बचाने में योगदान दें!

मूल लेख: गोपी करेलिया

संपादन - मानबी कटोच 


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