बारिश के समय में गार्डन में लगे हुए पेड़-पौधों में अक्सर फंगस लगने की समस्या देखी जाती है, जिसके कारण हमारे पौधों की ग्रोथ पर भी असर दिखता है। गार्डनिंग एक्सपर्ट की मानें, तो समय पर ऑर्गेनिक फंजीसाइड के उपयोग से आप अपने पौधों को फंगस लगने से बचा सकते हैं।
यूं तो मार्केट में कई तरह के कार्बनिक और रासायनिक फंजीसाइड उपलब्ध हैं, लेकिन पौधों से फंगस हटाने के लिए रासायनिक फंजीसाइड का उपयोग करना हानिकारक हो सकता है। इसके बजाय, हमें जैविक फंजीसाइड का उपयोग करना चाहिए, ताकि हमारे पौधे फफूंदी रोग से भी बच सकें और उन्हें कोई नुकसान भी न हो।
बाजार के फंजीसाइड की तरह ही घर में बने जैविक फंजीसाइड भी काफी कारगर होते हैं। अंगुल (ओडिशा) की रहनेवाली स्वेता पांडा कहती हैं कि बारिश का मौसम हरियाली के साथ पौधों के कुछ रोग भी लेकर आता है, पौधों में फफूंदी लगना इसमें से एक आम समस्या है, जो गार्डनिंग करने वालों को परेशान करती है।
लेकिन जैविक फंजीसाइड का इस्तेमाल हम आराम से इनडोर या आउटडोर दोनों गार्डन में लगे हुए पौधों में कर सकते हैं। पेड़-पौधों पर फंगस के लक्षण दिखाई देने पर तुरंत फंजीसाइड का इस्तेमाल करना चाहिए, ताकि पौधों पर फफूंदी रोग लगने से पूरा पौधा ख़राब न हो जाए।
स्वेता ने आराम से घर में मौजूद चीजों से बनने वाले कुछ फंजीसाइड के बारे में बताया, जो आपके पौधों को नुकसान पहुंचाए बिना फंगस से बचा सकते हैं-
1. मिल्क स्प्रे ऑर्गेनिक फंजीसाइड-
कई लोग गौ मूत्र का उपयोग कीटनाशक के रूप में करते हैं, लेकिन कम लोग ही जानते हैं कि दूध भी प्राकृतिक फंजीसाइड के रूप में काम करता है। इससे पत्तियों का पीएच बदल जाता है और फंगस की दिक्कत कम हो जाती है।
इसका स्प्रे बनाने के लिये 9 भाग पानी और 1 भाग दूध को मिलाकर मिश्रण बनाएं और इसे स्प्रे बोतल में भरकर गार्डन के पौधों या इंडोर प्लांट्स पर छिड़काव करें। इसका छिड़काव आप शाम के समय करें। इससे पौधों पर स्प्रे रात भर असर करेगा।
2. नीम के तेल से ऑर्गेनिक फंजीसाइड
यूं तो गार्डनिंग करने वाले अक्सर गार्डनिंग की कई समस्याओं को दूर करने के लिए नीम के तेल का उपयोग करते ही हैं। इस तेल में कई प्रकार के प्राकृतिक गुण होते हैं, इसलिए इसे ऑर्गेनिक फंजीसाइड और कीटनाशक के रूप में पौधों की कई बीमारियों को दूर करने के लिए उपयोग किया जाता है।
नीम के तेल से ऑर्गेनिक फंजीसाइड बनाने के लिए आप एक बर्तन में लगभग 2 लीटर पानी लें और उसमें 2 चम्मच नीम का तेल डालकर अच्छी तरह से मिलाएं। अब तैयार मिश्रण को एक स्प्रे बोतल में भर लें और पौधों पर फंगस वाली जगह इसका छिड़काव करें।
आप हर हफ्ते नीम के तेल का छिड़काव कर सकते हैं, इससे फंगस और कीड़े लगने का डर नहीं रहता।
3. 3 जी ऑर्गेनिक फंजीसाइड
किचन में आसानी से मिलने वाला अदरक, मिर्च और लहसुन से बना 3 जी मिक्सचर, फंजीसाइड और पेस्टीसाइड दोनों का काम करता है। प्राकृतिक खेती करने वाले किसान भी इससे कीटनाशक बनाकर फसल पर छिड़कते हैं।
आप सब्जी के लिए मिक्सर जार में मसाला बनाने के बाद इसका पानी भी पौधों पर इस्तेमाल कर सकते हैं। तक़रीबन हर घर की रसोई में इन तीनों चीजों का उपयोग हर रोज़ होता ही है।
इससे पौधों का स्प्रे बनाने के लिए आप 50 ग्राम पेस्ट में पानी मिलाकर स्प्रे बोतल में भरें और पौधों पर स्प्रे करें। इससे पौधों में लगी फफूंदी आसानी से कम हो जाएगी।
4. एप्पल साइडर विनेगर
कई लोग वजन घटाने के लिए एप्पल साइडर विनेगर का इस्तेमाल करते हैं। लेकिन क्या आप जानते हैं कि यह विनेगर यानी सेब का सिरका एक ऑर्गेनिक फंजीसाइड के तौर पर भी काम करता है। इससे पौधों पर लगे काले-सफेद धब्बे भी दूर हो जाते हैं। इसे बनाने के लिये एक बड़ा चम्मच सेब के सिरके को 3-4 लीटर पानी में मिलाकर स्प्रे बोतल में भरें।
फंगस या पौधों पर धब्बे या कीड़ों की समस्या दिखने पर इसका स्प्रे करें।
5. दालचीनी
हर घर की रसोई में पाई जाने वाली दालचीनी हमारे गार्डन के लिए भी काफी उपयोगी होती है। दालचीनी में कई औषधीय गुण होते हैं। इसमें मौजूद प्राकृतिक गुण पौधों में फंगस और इंफेक्शन जैसी समस्या खत्म करने में मदद करते हैं। पौधों के लिए यह एक नेचुरल फंजीसाइड के रूप में भी काम करता है।
दालचीनी से फंजीसाइड बनाने के लिए आप दालचीनी का पाउडर बनाकर इस्तेमाल कर सकते हैं। इसके पाउडर को थोड़ी-थोड़ी मात्रा में पौधे के आस-पास मिट्टी में छिड़क दें। इससे मिट्टी का पीएच लेवल भी कंट्रोल रहेगा और पौधे भी स्वस्थ रहेंगे। यानी मिट्टी से होने वाले फंगस का खतरा भी नहीं होगा।
तो अब पौधों पर फंगस लगने से परेशान होने की कोई ज़रूरत नहीं है, आप इन नुस्खों का इस्तेमाल करके बारिश में भी पौधों को हरा भरा रख सकते हैं।
हैप्पी गार्डनिंग!
संपादनः अर्चना दुबे
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