क्या डांस से किसी का जीवन बदल सकता है? दिल्ली के रहनेवाले विनय शर्मा के लिए इस सवाल का जवाब है, हां। इसी सोच और विश्वास के साथ कोरियोग्राफर, विनय शर्मा ने अप्रैल 2016 में एक पहल, ‘डांस आउट ऑफ पावर्टी (DOOP)’ की शुरुआत की।
पिछले छह वर्षों में, उन्होंने 3,000 से ज्यादा लोगों को मुफ्त में ट्रेनिंग दी है। इसमें 6 साल के बच्चों से लेकर 28 साल के युवा तक शामिल हैं। विनय ने 2009 में दिल्ली में अपना खुद का डांस स्टूडियो खोलकर डांस में अपने करियर की शुरुआत की थी। फिर साल 2011 में वह मुंबई चले गए।
विनय, मुंबई में टी-सीरीज़ कंपनी के साथ असिस्टेंट डायरेक्टर के रूप में काम कर रहे थे। 2016 तक मुंबई में उनका सफर जारी रहा। लेकिन फिर उन्होंने मुंबई में अपने जमे-जमाए करियर को छोड़ दिल्ली वापस जाने का फैसला किया।
विनय कहते हैं कि वह 2008 के कुछ ऐसे छात्रों को जानते हैं, जिनमें भरपूर टैलेंट था, लेकिन फीस नहीं दे पाने के कारण डांस सीख नहीं सके। द बेटर इंडिया से बात करते हुए विनय ने बताया, “मैं नहीं चाहता था कि डांस के लिए फीस न भर पाने के कारण वास्तविक प्रतिभा बाहर आने से चूक जाए।”
मशहूर फिल्म निर्देशक के साथ कर रहे थे काम
जिस समय विनय ने बॉलीवुड छोड़ने का फैसला किया, उस समय वह एक मशहूर फिल्म निर्देशक, राजकुमार संतोषी के चीफ असिस्टेंट डायरेक्टर के रूप में काम कर रहे थे।
विनय ने बताया कि वह अपने काम से ब्रेक लेकर दिल्ली आए थे। दिल्ली में उन्होंने दो महीने के डांस वर्कशॉप का आयोजन किया। इस वर्कशॉप के लिए स्वर्गीय सरोज खान मेंटर बनने के लिए राजी हुई थीं। वर्कशॉप की उन्हें बेहतरीन प्रतिक्रिया मिली। दो महीने की वर्कशॉप ने छात्रों में काफी आत्मविश्वास पैदा किया था।
विनय कहते हैं, उन्हें एहसास हुआ कि इन छात्रों को लंबे समय और लगातार सिखाते रहने की ज़रूरत है। हालांकि, दो महीने की वर्कशॉप मजेदार थी, लेकिन उन बच्चों को इससे ज्यादा की ज़रूरत थी। विनय ने आर्थिक रूप से कमज़ोर, लेकिन कला के धनी छात्रों को अपने छत्र-छाया में ले लिया और उन्हें मुफ्त में ट्रेंनिग दी।
उन्होंने देखा कि थोड़ी सी मदद से वे बच्चे अच्छा करने लगे और यही वह घटना थी, जिसके बाद उन्होंने नौकरी छोड़ने का मन पक्का कर लिया और दो महीने के ब्रेक के रूप में जो सफर अनजाने में शुरू हुआ था, वह अब तक जारी है।
विनय और उनके ऑर्गेनाइजेशन ने अब तक 3,000 से ज्यादा छात्रों को मुफ्त में ट्रेनिंग दी है। वह कहते हैं, “यह देखकर मुझे काफी अच्छा लगा कि गरीब परिवार से आने वाले छात्र, डांस का उपयोग अपने जीवन को बदलने के लिए कर रहे थे। मैं इस अवसर को जाने नहीं देना चाहता था।”
“लोगों से सिर्फ सराहना मिली, मदद नहीं”- विनय शर्मा
विनय बताते हैं कि ये छात्र वंचित बैकग्राउंड से आते हैं और इनके पास कमाल की क्षमता है। लेकिन उनके पास कोई ऐसी जगह नहीं थी, जहां वे अपने अंदर छिपी हुई कला को खोज पाते। विनय कहते हैं, “मैंने जानने की कोशिश की कि क्या इन बच्चों के लिए कोई ऐसी जगह है, जहां वह बिना फीस दिए डांस सीख सकें, लेकिन मुझे ऐसी एक भी जगह नहीं मिली। इसी कारण से मैंने ‘डांस आउट ऑफ पावर्टी (DOOP)’ शुरू किया। मैं इन छात्रों को समय और सहायता देना चाहता था, जिसके वे हकदार हैं।”
हालांकि, यह यात्रा आसान नहीं रही। शुरुआत में हर बड़े कॉर्पोरेट हाउस ने इस पहल की सराहना की, लेकिन जब वित्तीय मदद की बात आई, तो सबने हाथ खींच लिए। विनय कहते हैं, “वे सभी चाहते थे कि मैं उनके पास तब वापस आऊं, जब मेरे पास उन्हें दिखाने के लिए कुछ प्रभावी हो। उनमें से कोई भी मेरा समर्थन करके रिस्क नहीं लेना चाहता था।” तब विनय ने खुद पहल को फंड करने का फैसला किया।
विनय अब तक करीब 12 लाख रुपये का निवेश कर चुके हैं। वह कहते हैं, एक समय था जब उन्हें अपना सबकुछ इस काम में लगाना पड़ा था। उन्होंने बताया, “क्योंकि कोई मेरी मदद करने के लिए तैयार नहीं था, इसलिए मुझे सबकुछ खुद ही करना था। मुझे खुद पर पूरा भरोसा था और खुद को साबित करने के लिए, इस पहल को आगे बढ़ाने से बेहतर तरीका क्या हो सकता था?”
विनय शर्मा की एक पहल ने बदली कई तरह से लोगों की ज़िंदगी
डांस को करियर बनाने की इच्छा रखने वाले छात्रों के माता-पिता को समझाना भी एक मुश्किल काम था। विनय ने कहा, “किसी ने भी डांस को जीवन जीने के साधन के रूप में नहीं देखा था। इसे लंबे समय से एक ‘एक्स्ट्रा करिकुलर एक्टिविटी’ के रूप में देखा गया था। ज्यादा से ज्यादा लोग इसे खुशी देने वाली एक चीज़ मानते थे। हालांकि, अभी चीजें बदल गई हैं। आज, यह बिज़नेस बहुत बड़ा है और एक डांसर, कम से कम 40,000 से 50,000 रुपये प्रति माह कमा सकता है।”
DOOP ने 100 से अधिक छात्रों को डांसर, डांस ट्रेनर और यहां तक कि फिल्म इंडस्ट्री में कोरियोग्राफर तक के रूप में काम दिलाने में कामयाबी हासिल की है।
23 वर्षीय कौशल पाल 2017 में जब DOOP में शामिल हुए, तो वह नशे के शिकार थे। विनय याद करते हुए कहते हैं कि वह एक ऐसा लड़का था, जो अक्सर कहीं भी बैठ जाता था और खोया-खोया सा रहता था। क्लास में जो सिखाया जा रहा था, उस पर भी ध्यान नहीं देता था। कभी-कभी तो वह क्लास में पीछे सोता हुआ पाया जाता था।
विनय पहली बार ऐसे किसी छात्र के साथ काम कर रहे थे, इसलिए वह समझ नहीं पाए कि लड़का किसी लत का शिकार है।
कभी परिवार से चुराते थे पैसे, आज कर रहे वित्तीय मदद
विनय शर्मा के सेंटर में कुछ महीनों की ट्रेनिंग के बाद, कौशल ने अपने नशे के बारे में बताया। कौशल कहते हैं, “मैं विश्वास के साथ कह सकता हूं कि डांस ने मुझे ठीक कर दिया। जब तक मैं कार्यक्रम में शामिल नहीं हुआ था, तब तक मैं एक ड्रग एडिक्ट था, जिसके पास एक अच्छा जीवन जीने का कोई ज़रिया नहीं था। मेरे पास आगे देखने के लिए कुछ भी नहीं था। डांस ने मुझे एक कारण दिया – इसने मुझे ड्रग्स पर अपनी निर्भरता छोड़ने और आगे बढ़ने में मदद की।”
कौशल ने बताया, “DOOP ने मेरे शौक़ को एक जुनून में बदलने में मदद की। मैंने एक लंबा सफर तय किया है, पहले कभी मैं नशीली दवाओं के लिए पैसे चुराता था, लेकिन अब डांस के माध्यम से अपने परिवार की वित्तीय मदद कर रहा हूं।”
इंडियाज़ गॉट टैलेंट तक पहुंचे विनय शर्मा के छात्र
22 वर्षीया मामोनी बर्मन का कहना है कि डांस ने बेहतर जीवन जीने के उनके सपने को पूरा करने में मदद की। वह कहती हैं, “मेरी माँ दूसरों के घरों में काम करती थीं। अपने परिवार को आर्थिक रूप से मदद करने के लिए मैं अक्सर स्कूल के साथ नौकरी भी करती थी। पैसे कमाने के लिए मैं कई कार्टून कैरेक्टर के रूप में तैयार होती थी और भीड़ का मनोरंजन करती थी। इसी तरह के एक कार्यक्रम में, मैंने DOOP के बारे में सुना।”
मामोनी याद करते हुए बताती हैं कि प्रोग्राम में शामिल होने के एक महीने के भीतर, उन्हें रणबीर कपूर और कैटरीना कैफ के साथ डांस करने का अवसर मिला।
वह कहती हैं, “यह वह क्षण था, जब मैंने अपना आत्मविश्वास ढूंढना शुरू किया और जीवन के लिए एक नया उत्साह महसूस किया। मेरा पूरा जीवन बदल गया। पहले मेरे पास आगे जीने के लिए कोई योजना नहीं थी, लेकिन अब मेरे पास सपने हैं। यहां तक कि मुझे इंडियाज़ गॉट टैलेंट सीजन 9 के मंच पर प्रदर्शन करने का मौका भी मिला और मैं तीसरे स्थान पर रही।”
DOOP के ज़रिए, कौशल और मामोनी जैसे कई अन्य लोगों को अपने जीवन की नई और शानदार पारी शुरू करने का मौका मिला है। विनय कहते हैं कि वह छात्रों को सपने देखने और अपना जीवन बेहतर बनाने का मौका देना चाहते थे। वर्तमान में दिल्ली में 250 छात्रों के एनरोलमेंट के साथ, वह जल्द ही अन्य शहरों में भी डांस के माध्यम से खुशी फैलाने की तैयारियों में लगे हुए हैं।
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