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जसुबेन शिल्पी: ‘द ब्रॉन्ज़ वुमन ऑफ़ इंडिया’!

देश के महान शिल्पकार राम वंजी सुतार जी से हम सब भली-भांति परिचित हैं। 92 बरस की उम्र में विश्व की सबसे ऊँची मूर्ती बना कर उन्होंने अपना नाम इतिहास के पन्नों में दर्ज करा लिया है। आज उनकी उम्र लगभग 95 साल होने को आई है, लेकिन उनके हाथों से कारीगरी अभी भी बिना रुके अपना जादू बिखेर रही है।

राम वंजी सुतार की ही तरह एक और शख्सियत है, जो आज भले ही इस दुनिया में नहीं हैं, लेकिन अपनी ज़िन्दगी के आखिरी पलों तक, उनके हाथ भी निरन्तर भारत की मूर्तिकला को नए आयाम देने के लिए चलते रहे। पर अफ़सोस की बात यह है कि देश के इस अनमोल रत्न ने बारे में कम लोग ही जानते हैं।

यहाँ पढ़ें 92 की उम्र में विश्व की सबसे ऊँची मूर्ती बनाने वाले इस भारतीय कलाकार की की कहानी!

जसुबेन शिल्पी, एक भारतीय शिल्पकार, जिसे ब्रॉन्ज़ यानी कि कांस्य की मूर्तियाँ बनाने में महारथ हासिल थी। और इसलिए उन्हें, ‘द ब्रॉन्ज़ वुमन ऑफ़ इंडिया’ के नाम से जाना जाता है। 10 दिसंबर 1948 को गुजरात में जन्मी जसुबेन ने अपने पूरे करियर में 700 से भी ज़्यादा मूर्तियाँ बनायीं थीं और उनकी बनायीं गयी मूर्तियाँ न सिर्फ भारत में बल्कि बाहर के भी कई देशों में लगी हैं।

उन्होंने अपने जीवनकाल में कांस्य की 225 बड़ी मूर्तियां और 525 अर्धप्रतिमाएँ बनायीं। इनमें, गाँधी जी, वल्लभभाई पटेल, झाँसी की रानी, स्वामी विवेकानंद, और कुछ देवी-देवताओं की मूर्तियाँ शामिल हैं। साल 2005 में ‘झाँसी की रानी’ प्रतिमा के लिए उनका नाम ‘लिम्का बुक ऑफ़ रिकार्ड्स’ में दर्ज हुआ।

Jasuben working on her Jhansi ki Rani Sculpture (Photo Credits)

इसके अलावा, उन्हें उनके काम के लिए बहुत से राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय सम्मानों से नवाज़ा गया है। जैसे कि द मिरेकल्स वर्ल्ड रिकॉर्ड सर्टिफिकेट, वुमन ऑफ़ द ईयर, अब्राहम लिंकन आर्टिस्ट अवॉर्ड- यूएसए, आदि। उनके नाम देश में सबसे बड़ी कांस्य की प्रतिमा (हनुमान जी की, जो कि जोधपुर, राजस्थान में लगी हुई है) बनाने का भी रिकॉर्ड है।

उनकी बनाई हर एक प्रतिमा उनकी रचनात्मक प्रतिभा की मिसाल है। गुजरात के अलावा उनकी प्रतिमाएं, राजस्थान, तमिलनाडु, महाराष्ट्र, कर्नाटक, बिहार, केरल, उत्तरांचल जैसे राज्यों में लगी हुई हैं। साथ ही, शिकागो की फ्लोरिडा यूनिवर्सिटी में लगी गाँधी जी की प्रतिमा और कैरोलिना में लगी किंग मार्टिन लूथर की प्रतिमा को बनाने का श्रेय भी उन्हें ही जाता है।

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बताया जाता है कि जसु बेन की ख्वाहिश थी कि वह एक ब्रॉन्ज़ म्यूजियम की स्थापना करें और इसे अपने देश को समर्पित करें। लेकिन अपने म्यूजियम, ‘जसु शिल्पी स्टूडियो’ का काम पूरा होने से पहले ही उन्होंने दुनिया को अलविदा कह दिया। 14 जनवरी 2013 को 64 साल की उम्र में दिल का दौरा पड़ने से उनकी मौत हो गयी।

Working on Gandhi Ji’s Sculpture (Photo)

उनके बेटे, ध्रुव के मुताबिक अपनी मृत्यु से एक-दो दिन पहले तक जसुबेन बिल्कुल ठीक थीं और अपने एक प्रोजेक्ट पर काम कर रही थीं। उनकी विरासत को अब उनके बच्चे, ध्रुव और धरा, आगे बढ़ा रहे हैं।

 

संपादन – मानबी कटोच 

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Summary: Jasuben Shilpi, popularly known as the ‘Bronze Woman of India,’ was an Indian bronze sculpture artist. In her career, Jasuben made more than 525 bust size and 225 large size bronze statues. Her works included statues of personalities like Mohandas Karamchand Gandhi, Rani Laxmibai, Swami Vivekananda and Vallabhbhai Patel, etc.


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