बिहार के बक्सर जिले के एक छोटे से गाँव में उन जन्म हुआ; बचपन गरीबी में बीता। केरोसीन की रौशनी में पढ़ाई की लेकिन सिर्फ अपनी मेहनत और ढृढ़ता के दम पर बन गए IAS अफ़सर!
अंशुमन ने बचपन काफी अभाव में बिताया और केरोसीन की रौशनी में पढ़ाई की, पर हिम्मत कभी नहीं हारी। उन्होंने सरकारी स्कूल और कॉलेज से ही अपनी पढ़ाई पूरी की।
बचपन से ही IAS बनने का सपना देखा और साधन की कमी से कभी नहीं घबराए। उनके गाँव में कोचिंग तो दूर, अंग्रेज़ी अख़बार तक नहीं आता था। ऐसे में अंशुमन ने ऑनलाइन साधनों का सहारा लिया और तैयारी में जुट गए।
2019 में अंशुमन का चौथा प्रयास था। उनकी तैयारी पूरी थी लेकिन चुनौतियाँ अभी बाकी थीं। Mains परीक्षा के कुछ रोज़ पहले ही उनका Appendix burst हो गया। भयानक दर्द रहते हुए भी अंशुमन ने यह परीक्षा दी।
पर इसके बावजूद इस बार अंशुमन ने AIR 107 हासिल कर लिया और बन गए IAS अंशुमान राज!
अंशुमन का मानना है कि कोई भी बाधा इतनी बड़ी नहीं होती कि आपको आपके सपनों को पूरा करने से रोक ले। ज़रूरत है तो बस आत्मविश्वास और कड़ी मेहनत की!