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50 साल की गृहणी बनीं सफल बिज़नेसवुमन, पोलैंड तक पहुंचाया लुधियाना का बिलोना घी

Kimmu's Kitchen owner Kamaljeet Kaur Takes Ludhiana Bilona Ghee to Poland

जिंदगी जब हमें दूसरा मौका देती है, तो जीवन जीने का नजरिया थोड़ा ही सही लेकिन बदलता जरूर है। पंजाब में पली-बढ़ीं और ठाणे मुंबई की रहनेवाली 51 साल की कमलजीत कौर, मार्च 2020 में जब कोविड से जंग लड़ रही थीं, तब उनके साथ भी ऐसा ही कुछ हुआ। उनके इलाज के दौरान, एक समय ऐसा आया जब डॉक्टर्स ने भी उनके बचने की उम्मीद छोड़ दी थी। वह एक ऐसा समय था, जब ज्यादातर परिवारों ने अपने किसी न किसी करीबी को खो दिया था। हर तरफ बस परेशानियां और हताशा थी। कमलजीत के परिवार के सदस्य भी निराश हो चुके थे।

उनकी हालत खराब ही होती जा रही थी। कमलजीत को भी लगने लगा था कि अब शायद वह ठीक नहीं हो पाएंगी, लेकिन फिर अचानक से उनकी तबियत में सुधार दिखाई देने लगा। सबकी खोई हुई उम्मीदें वापस आने लगीं और वह सोच रही थीं कि ऐसा क्या था, जिसकी वजह से उन्हें बीमारी से लड़ने की ताकत मिल पाई और वह ठीक हो पाईं।

फिर उन्हें अपने बचपन के दिन याद आए, जब वह अपने खेतों में उगे ताजे फल और सब्जियां खाया करती थीं। भैंस का ताजा दूध पीकर वह बड़ी हुई थीं। उन्हें समझ आ गया कि यह उनके खान-पान का ही असर था, जिसके कारण उन्हें दोबारा जिंदगी मिली है। 

बिमारी से मिला बिजनेस आइडिया

Kamaljit Kaur and her husband

कहते हैं न कि समय अगर बुरा हो, तो भी बहुत कुछ सिखा जाता है। बस ज़रूरत होती है खुद को पॉजिटिव रखने की। कमलजीत ने बीमारी के दौरान बहुत सी शारीरिक तकलीफें झेलीं, लेकिन उन तकलीफों से ही उन्हें एक बेहतरीन बिजनेस आइडिया भी मिला। लुधियाना के एक छोटे से गांव में पले-बढ़े होने के कारण, कमलजीत को ताजे दूध की कभी कोई कमी नहीं हुई। घी, पनीर और दूध से बनी चीज़ें वह बड़े शौक से खाया करती थीं। गांव से मुंबई शिफ्ट होने के बाद, कमलजीत को सबसे ज्यादा कमी जिस चीज़ की खली थी-वह था ताजा दूध।

कमलजीत बताती हैं, “मैं बचपन में, कभी गंभीर रूप से बीमार पड़ी, ऐसा मुझे याद नहीं आता। शायद इसकी वजह उस समय हमेशा सिर्फ ताजा दूध, मक्खन, घी, फल और सब्जियां खाना था। हल्के सर्दी-जुकाम जैसी चीज़ें साल में कभी-कभार हो जाती थीं। इसके अलावा, कभी कुछ बड़ी समस्या नहीं हुई। लेकिन जब मेरी शादी हुई, तो मैं मुंबई चली आई। यहां मुझे अक्सर सर्दी लगने की शिकायत रहने लगी। मुंबई की भागती-दौड़ती जिंदगी में ताजा खान-पान कहीं पीछे छूट गया था।”

कोविड से ठीक होने के कुछ महीनों बाद, लगभग तीन महीने की मार्केट रिसर्च कर, कमलजीत ने दिसंबर 2020 में Kimmu’s Kitchen को लॉन्च किया गया। यह एक स्टार्टअप है, जिसकी खासियत फार्मफ्रेश बिलोना घी है। लुधियाना के गांवों में पारंपरिक तरीके से बने घी को बिलोना घी कहते हैं। इसमें किसी भी तरह के एडिटिव्स, प्रिजर्वेटिव्स या हानिकारक केमिकल का इस्तेमाल नहीं किया जाता।

लुधियाना से मुंबई मंगवाती हैं दूध

Packaging of Bilona Ghee

कमलजीत ने बताया, “अपने बिज़नेस (Kimmu’s Kitchen) के लिए शुरुआत के कुछ हफ्तों तक मैं स्थानीय विक्रेताओं से दूध खरीद रही थी। लेकिन कुछ कमी थी। मुझे वह स्वाद नहीं मिल पा रहा था, जो गांव के दूध से निकलने वाले घी से मिलता था।” अपने उत्पाद के स्वाद और गुणवत्ता से समझौता न करते हुए कमलजीत ने अपने गांव से मुंब्रा तक दूध पहुंचाने के तरीकों की तलाश शुरू कर दी।

वह हंसते हुए कहती हैं, “मैंने कभी भी स्टोर से घी नहीं खरीदा है। ऐसा करना मेरे लिए भगवान के अपमान करने जैसा है। चाहे मैं अपने माता-पिता के पास लुधियाना में रही या फिर जब मेरी शादी हुई और ससुराल वालों के साथ मुंबई में रहने लगी, घी हमेशा से ही घर पर ताजा बनाया जाता रहा है। मैं जिस स्वाद के साथ पली-बढ़ी थी, उसे सभी लोगों तक पहुंचाना ही हमारे बिज़नेस का आइडिया था।”

वैसे तो घी बनाने के कई तरीके हैं। लेकिन कमलजीत बिलोना तरीके का इस्तेमाल करती हैं। उन्होंने कहा, “यह ऐसी प्रक्रिया है, जिसमें हम दही से घी बनाते हैं न कि सीधे मक्खन या मलाई से। बाजार में बिकने वाला ज्यादातर घी, मक्खन या मलाई से ही बनाया जाता है।”

Kimmu’s Kitchen में कैसे तैयार होता है बिलोना घी?

Kimmu’s Kitchen: Bilona Ghee

दूध से घी निकालने का यह पारंपरिक तरीका थोड़ा लंबा जरूर है, लेकिन इसका एक खास स्वाद और महक होती है। इसके लिए गाय के दूध को उबाल कर ठंडा किया जाता है। एक चम्मच दही डालकर उसे रातभर जमने के लिए छोड़ देते हैं और फिर सुबह दही को मथकर उससे मक्खन निकालते हैं। बाद में इस मक्खन को आंच पर रखकर पकाया जाता है, ताकि उसमें मौजूद पानी भाप बनकर उड़ जाए और सिर्फ शुद्ध घी रह जाए।

किम्मू के किचन में घी बनाने के लिए भैंस के दूध का इस्तेमाल किया जाता है। कमलजीत बताती हैं, “कुछ दिन ऐसे होते हैं, जब हमें तकरीबन 100 ऑर्डर मिलते हैं और कुछ दिन इससे आधे और कुछ दिन तो ऑर्डर मिलते ही नहीं हैं। इसलिए यह बता पाना कि बिज़नेस कैसा चलेगा, थोड़ा मुश्किल है। लेकिन जिस तरीके से चीजें आगे बढ़ रही हैं, उससे मैं खुश हूं।”

उनके पास एक चीफ एडवाइजर टेक्नोलॉजी ऑफिसर भी हैं। बिजनेस के सेटअप के बारे में बात करते हुए वह कहती हैं, “हम किसान के परिवार से आते हैं और जब इंफ्रास्ट्रक्चर तैयार कर रहे थे, तो उसके लिए कई चीजों में बदलाव करने की जरूरत थी। कुछ ऐसे बदलाव जो हमारे बिज़नेस के अनुरूप थे। इस व्यवसाय के लिए हमने अपने साथ कई ऐसे लोगों को जोड़ा, जिनके पास भैंसें हैं। मौजूदा स्टोव आदि में भी कुछ बदलाव किए। इस सेटअप पर हमें करीब 8 लाख का खर्च आया।

क्या है Kimmu’s Kitchen के बिलोना घी की कीमत?

कमलजीत के बिजनेस के लिए जहां सारा घी बनाया जाता है, वह सेंट्रल युनिट लुधियाना के गांव में है। उसके बाद इसे पैकेजिंग और वितरण के लिए मुंबई लाया जाता है। रिटेल के लिए तीन अलग-अलग आकार की घी की बोतलें उपलब्ध हैं – 220 मिली, 500 मिली और एक लीटर। 220 मिली की कीमत 399 रुपये है। घी की मात्रा के हिसाब से कीमत बढ़ती चली जाती है।

आज Kimmu’s Kitchen हर महीने 20 लाख रुपये कमा रहा है। हर महीने 45,000 बोतल घी देशभर में बेचा जाता है। कमलजीत ने बताया कि, “कमाई का एक हिस्सा सेवा के लिए इस्तेमाल किया जाता है। चाहे वह गुरुद्वारे में लोगों को खाना खिलाना हो या फिर किसी और तरीके की सेवा।”

“हम मां का अभिमान नहीं, मां हैं हमारा अभिमान”

कमलजीत के बेटे हरप्रीत कहते हैं, “मेरी मां ने बहुत सारी भूमिकाएं निभाई हैं। एक बेटी, पत्नी, मां और एक दोस्त। अब 50 की उम्र में उन्हें एक सफल उद्यमी के रूप में देखना, उनके और परिवार के बाकी लोगों के लिए एक भावनात्मक क्षण रहा है।”

काफी उत्साह के साथ हरप्रीत कहते हैं, “अभी तक हम सिर्फ भारत के शहरों में शिपिंग कर रहे थे। लेकिन कुछ हफ्ते पहले हमें पोलैंड से भी एक ऑर्डर मिला है। अपनी मां की उपलब्धियों के बारे में बात करते हुए उन्होंने कहा, “हम मां का अभिमान नहीं, बल्कि मां हमारा अभिमान हैं। उनकी कड़ी मेहनत का फल उन्हें मिलते देखना हमारे लिए भी उत्साहजनक है।” 

अगर आप भी Kimmu’s Kitchen से घी खरीदना चाहते हैं, तो Kimmuskitchen.com पर लॉग इन कर सकते हैं।

मूल लेखः विद्या राजा

संपादनः अर्चना दुबे

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