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बीमार पिता के लिए बनाए हर्बल चाय और हेल्दी ब्रेकफास्ट, यही बना करोड़ों का कारोबार

जम्मू में रहने वाली 29 वर्षीय रिद्धिमा अरोड़ा के पिता जब बीमार हुए, तो उन्होंने अपनी ब्रांड मार्केटिंग की नौकरी से तीन महीने का ब्रेक लिया और घर पर रहकर अपने पिता की देखभाल करने लगीं।
वह कहती हैं, “मेरे 59 वर्षीय पिता को लिवर सिरोसिस बीमारी हो गई थी और डॉक्टरों ने कहा कि वे कुछ नहीं कर सकते हैं। क्योंकि, उनकी हालत दिन-प्रतिदिन खराब हो रही थी। वे घर पर थे, तो मैंने सुनिश्चित किया कि वह पौष्टिक खाना खाए, जो स्वच्छ हो और स्थानीय स्त्रोतों से आया हो।” उन्होंने अलग-अलग हर्बल चाय (Herbal Tea), आयुर्वेदिक काढ़ों और पारंपरिक खाद्य पदार्थों से अपने पिता का इलाज शुरू किया।  

उनके परिवार ने डिब्बा बंद भोजन और प्रिजर्वेटिव वाले खाद्य उत्पाद लेने बिल्कुल बंद कर दिए। वे सारा सामान, स्थानीय किसानों से लेने लगे। रिद्धिमा के पिता नियमित तौर से हरिदति (भारतीय हॉग प्लम) और हरड़ जैसी चीजें लेने लगे, जिनमें एंटीसेप्टिक के गुण होते हैं।

वह आगे कहतीं हैं, “मात्र तीन महीनों में, उनकी स्थिति सुधरने लगी और वह अच्छा महसूस करने लगे। हालांकि, लिवर सिरोसिस लाइलाज बीमारी है, लेकिन मेरे पिता ने अपनी खान-पान की आदतों को बदलकर और नियमित रूप से व्यायाम करके अपनी हालत में काफी सुधार कर लिया। अब वह हर रोज काम पर जा रहे हैं और मेवा, औषधीय जड़ी बूटी, जैविक उत्पाद और आयुर्वेदिक दवाओं के हमारे 80 साल पुराने पारिवारिक बिजनेस को संभाल रहे हैं।”

खान-पान का रखें खास ख्याल:

रिद्धिमा ने देखा कि कैसे सही खान-पान से उनके पिता की बिगड़ती हालत में सुधार आ गया। इसलिए, उन्होंने दूसरों की भी खान-पान की आदतों में बदलाव करने में उनकी मदद करके, उनकी जीवन शैली में बदलाव लाने का फैसला किया।

Riddhima Arora, the founder of Namhya Foods with her father.

वह कहतीं हैं, “ज्यादातर लोगों को जल्दी से बन जाने वाला खाना खरीदने की आदत होती है। लेकिन, वे यह नहीं देखते कि उसमें किन-किन चीज़ों का इस्तेमाल हुआ है। शुगर-फ्री उत्पादों, डाइट सप्लीमेंट्स या अन्य ‘स्वस्थ’ खाने के विकल्पों में, एक न एक हानिकारक सामग्री होती है। फिर चाहे वह मैदा हो, प्रीजर्वेटिव या फ्रुक्टोज़ (फलों के रस से निर्मित चीनी)। इसलिए, मैंने पारिवारिक रेसिपी का उपयोग करते हुए आयुर्वेदिक, हर्बल और स्वस्थ खाद्य उत्पादों की एक श्रृंखला शुरू करने का फैसला किया।”
साल 2019 में उन्होंने अपने व्यवसाय के लिए अपनी नौकरी छोड़ दी।  

साल 2019 के अंत में उन्होंने ‘नम्या फूड्स’ नाम से अपना स्टार्टअप लॉन्च किया। इसके जरिए, वह लिवर और दिल को स्वस्थ रखने के लिए हर्बल चाय से लेकर, जल्दी से बन जाने वाले ‘ब्रेकफास्ट मिक्स’, इम्यूनिटी बढ़ाने वाली लाटे (latte), गुणकारी स्नैक्स, और पीसीओएस (Polycystic ovary syndrome) व डायबिटीज को नियंत्रण में करने वाली चाय आदि ग्राहकों तक पहुंचा रही हैं। 

उन्होंने सबसे पहले, पीढ़ियों से इस्तेमाल होती आ रही कई रेसिपीज को इकट्ठा किया। इसके बाद, उन्होंने आयुर्वेदिक विशेषज्ञों से बात की। जिन्होंने अलग-अलग रेसिपी में इस्तेमाल होने वाली सामग्रियों की मात्रा और अनुपात को समने में, उनकी मदद की। इसके अलावा, उन्होंने ‘इंटरनेशनल एकेडमी ऑफ आयुर्वेद’ के साथ मिलकर ‘यूएवीएस आयुर्वेद’, बेंगलुरु द्वारा चलाया जा रहा, तीन महीने का ‘आयुर्वेदिक सर्टिफिकेट कोर्स’ भी किया।

Ayurvedic products made by Namhya Foods.

रिद्धिमा कहती हैं, “वैसे तो, अपने परिवार के प्रभाव के चलते मुझे आयुर्वेदिक कॉन्सेप्ट्स का ज्ञान था लेकिन, इस कोर्स से मुझे अपने ज्ञान को ताजा करने और बढ़ाने में मदद मिली।”

जैविक उत्पाद: 

अपने पारिवारिक सम्पर्कों और स्थानीय किसानों के साथ मिलकर, उन्होंने कच्चे माल के लिए सप्लाई चेन तैयार की। वह कहती हैं कि इसमें कुछ महीने लग गए क्योंकि, देसी जड़ी-बूटियों और पौधों की खेती करने वाले किसानों को ढूंढना मुश्किल था। इसके अलावा, सभी किसानों के यहां जाकर उन्होंने, उनके खेतों और उपज का जायजा लिया और इसके बाद उनके साथ काम शुरू किया। 

इसके बाद, उन्होंने अपने परिवार की ही एक जमीन पर मैन्युफैक्चरिंग यूनिट स्थापित की। उन्होंने पीसने, काटने और पैकेजिंग के लिए आवश्यक मशीनरी खरीदी। फिर, उन्होंने कुकिंग का हुनर रखने वाले कुछ स्थानीय कर्मचारियों को काम पर रखा। 

वह कहती हैं, “शुरुआती कुछ महीनों के रिसर्च एंड डेवलपमेंट के बाद, जनवरी 2020 में हमने तीन हर्बल चाय लॉन्च की।”

Riddhima Arora and the products offered by Namhya Foods.

पंजाब के अमृतसर में रहने वाले 20 वर्षीय आर्यन मेहता और उनके दादा का कहना है कि उन दोनों को ही रिद्धिमा के खाद्य उत्पादों से काफी फायदा हुआ है। आर्यन के दादाजी के हार्ट वाल्व्स में कुछ ब्लॉक्स (दिल से जुड़ी बीमारी) का पता चला और डॉक्टरों ने उन्हें स्वस्थ खान-पान की सलाह दी। आर्यन कहते हैं, “मुझे अप्रैल 2020 में इंस्टाग्राम पर नम्या फूड्स के बारे में पता चला और मैंने दादाजी के लिए, उनकी ‘हार्ट टी’ खरीदी। इसे लगातार तीन महीनों तक लेने से और दूसरी खान-पान की आदतों में बदलाव से, उनकी हालत में काफी सुधार आया। डॉक्टरों ने भी आगे चेक अप करने के बाद, उनके स्वास्थ्य में सुधार बताया।”  

आज रिद्धिमा का स्टार्टअप 26 अलग-अलग खाद्य उत्पाद उपलब्ध करवा रहा है, जिसमें हल्दी लाटे पाउडर, डायबिटीज/हार्ट/लिवर केयर टी, रागी/बाजरे से बने ब्रेकफास्ट मिक्स, पीसीओएस को नियंत्रित रखने वाली ड्रिंक, और बच्चों के लिए कोकोआ जायके वाली दालचीनी लाटे आदि शामिल हैं। 

रिद्धिमा कहती हैं कि उन्होंने एक करोड़ रुपए की सालाना कमाई की है और अब उनके उत्पाद, भारत के अलावा दुबई और कनाडा जैसे देशों में भी जा रहे हैं। 

उनके उत्पाद आप उनकी वेबसाइट या अमेज़न से खरीद सकते हैं। 

मूल लेख: रौशनी मुथुकुमार 

संपादन – प्रीति महावर

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