मिट्टी की ईंटें और रीसायकल की हुए लकड़ी से बना घर, जहाँ बिजली का बिल आता है मात्र 20 रुपये

कंक्रीट से बने किसी घर से सुन्दर और मजबूत है, ए जगतीसन का घर।

तमिलनाडु के पेरम्बलुर जिले के एक छोटे से गांव के रहने वाले, ए जगतीसन पेशे से सिविल इंजीनियर हैं।

सीमेंट की इमारतें बनाते हुए, उन्हें मिट्टी के घरों की अहमियत तब पता चली, जब गांव में किसी ने उन्हें पक्के मकान के लिए मिट्टी का घर तोड़ने को कहा।

वह बताते हैं, "आज गांव में भी 90 प्रतिशत घर सीमेंट से बनाए जाते हैं। लेकिन मैं चाहता था कि मिट्टी से एक घर बनाकर साबित करूँ कि ये घर भी काफी मजबूत होते हैं।"

31 वर्षीय, जगतीसन प्रकृति से जुड़ा हुआ एक घर बनाना चाहते थे। उन्होंने लाल मिट्टी से बनी कच्ची मिट्टी की ईंटों का उपयोग करके 1000 वर्ग फुट का घर बनाया, जिसमें सीमेंट का उपयोग 50 प्रतिशत तक कम हुआ है।

उनके इस सपनों के घर का नाम 'थैमन वीडु' है, जिसका मतलब है- धरती माता

उन्हें इस घर को बनाने में एक साल का समय लगा और कुल खर्च मात्र 20 लाख ही आया।

जब वह अपने घर की प्लानिंग कर रहे थे, तब वह ऐसे कई लोगों से मिले,  जिनका मिट्टी का मकान है। फिर उन्होंने दो मंजिला मिट्टी का घर बनाना शुरू किया।

उन्होंने कम्प्रेस्ड स्टेबलाइज्ड अर्थ ब्लॉक्स तकनीक से ईंट बनाना सीखा, जिसे तीन हफ़्तों तक धूप में सुखाकर बनाया जाता है। ऐसा करने से ये बहुत मजबूत हो जाती हैं।

1000 वर्ग फुट के घर को पत्थरों की नींव के साथ तैयार किया गया है। मिट्टी की ईंटों को सीमेंट के बजाय प्राकृतिक मोर्टार का उपयोग करके जोड़ा गया है।

घर की रसोई और बाथरूम सहित पूरे घर में ऑक्साइड फर्श का उपयोग किया है।  

घर में प्राकृतिक हवा और रोशनी का भी खूब ध्यान रखा गया है।  उन्होंने एक आँगन भी बनाया है जिससे क्रॉस वेंटिलेशन अच्छा होता है।

यही वजह है कि बिजली का बिल बहुत कम आता है।

इस घर में दो महीने में मात्र 20 या 30 रुपये बिल आता है। तमिलनाडु सरकार की सब्सिडी के साथ, पहली 100 युनिट्स मुफ्त हैं।

इसके अलावा सस्टेनेबल तरीकों में उन्होंने, घर में ज़्यादा से ज़्यादा रीसायकल्ड लकड़ियों का इस्तेमाल किया है।

उन्होंने मेन गेट और छत की रेलिंग सहित खिड़की की ग्रिल और एक छोटा सा गेट बनाने के लिए दोपहिया वाहनों के चेन स्प्रोकेट का उपयोग किया है।

इसके अलावा, यहां रेन वॉटर हार्वेस्टिंग की सुविधा भी है।

जगतीसन कहते हैं, "मैं यह नहीं कहूंगा कि यह कम बजट में बना घर है। लेकिन मैं खुश और संतुष्ट हूं कि मैं यह साबित कर सका कि मिट्टी के घर पारंपरिक कंक्रीट के घरों की तुलना में अधिक मजबूत और टिकाऊ होते हैं।"