Placeholder canvas

न बॉउंड्री वॉल है, न अच्छी धूप! सरकारी क्वार्टर में 400 पौधे उगाकर कमाती हैं हज़ारों रूपये

Home Gardening By Deepika Lakda in Ranchi

रांची में सरकारी क्वार्टर में रहने वाली दीपिका लकड़ा को गार्डनिंग से खास लगाव है। वह कई तरह के सजावटी पौधे उगा रही हैं और साथ ही एक नर्सरी भी चला रहीं हैं।

कहते हैं कि बच्चे माता-पिता को देखकर ही सीखते हैं। झारखंड की राजधानी रांची में रहने वाली 22 वर्षीया दीपिका लकड़ा ने भी अपने माता-पिता से गार्डनिंग की तरकीब (Home Gardening) सीखी और आज वह न केवल अपने घर को सजावटी पौधों से सजा रहीं हैं, बल्कि वह घर से नर्सरी भी चला रहीं हैं।

आज उनके घर पर सजावटी पौधों की 150 किस्में मौजूद हैं। वह लोकल नर्सरी और ऑनलाइन माध्यम से इन पौधों को मंगवाती हैं। 

नर्सरी में लगे सजावटी पौधे देखकर शुरू की गार्डनिंग (Home Gardening)

दीपिका ने बीबीए की पढ़ाई पूरी कर ली है और अब वह एमबीए की पढ़ाई करने वाली हैं। गार्डनिंग के अपने शौक (Home Gardening) के बारे में दीपिका ने द बेटर इंडिया को बताया, “2017 में जब मैंने कॉलेज जाना शुरू किया था, तब अक्सर एक नर्सरी के सामने से गुजरा करती थी। नर्सरी में लगे सुंदर -सुंदर पौधों को देखकर मैंने कुछ पौधे खरीदे। हालांकि, मेरे माता-पिता पहले कुछ मौसमी सब्जियां उगाया करते थे। मैं सरकारी क्वार्टर में रहती हूं, इसलिए घर के पास जगह की कमी नहीं है। लेकिन कोई वॉल या बॉउंड्री नहीं है। इसलिए कुत्ते हमेशा पौधे ख़राब कर देते हैं, गमले तोड़ देते हैं। इस कारण पापा ने गार्डनिंग (Home Gardening) करना कम कर दिया था।” 

दीपिका ने आगे बताया, “मैंने कुछ सजावटी पौधे खरीदकर उगाना शुरू किया। पर ये पौधे काफी महंगे मिलते थे, इसलिए घर पर डांट भी खानी पड़ती थी। मेरे घरवालों ने पहले सोचा कि यह कुछ दिनों का शौक है, लेकिन मुझे तो पौधों से इतना लगाव हो गया कि तीन-चार पौधे मात्र चार सालों में 400 पौधों में बदल गए।” 

Dipika Lakda Earning From Home Gardening Nursery business
Dipika Lakda

वह कहती हैं, “मैंने यूट्यूब चैनल देखकर घर पर एक पौधे से कई पौधे बनाएं। उनकी देखभाल के बारे में जानने के लिए सोशल मीडिया पर कई गार्डनिंग ग्रुप भी ज्वाइन किया। सबसे पहले मैंने Golden Sedum नाम का Succulent ख़रीदा था। अब मेरे पास Succulents की ढेर सारी वेरायटीज मौजूद है।”

दीपिका अपने गार्डन में दोस्तों और रिश्तेदारों के पास से कटिंग लाकर पौधे लगाने लगीं। हालांकि, उन्हें फूलों के पौधे लगाने का भी शौक है। लेकिन उनके घर के सामने ही एक बड़ा इमली का पेड़ है,  जिसके कारण घर के सामने के भाग में बिल्कुल धूप नहीं आती है। चूंकि फूलों के पौधों को अच्छी सूरज की रौशनी की जरूरत होती है, इसलिए ज्यादा फूल के पौधे भी उनके पास नहीं हैं।

लेकिन पौधों के प्रति यह उनका लगाव ही है कि उन्होंने घर में उगाने के लिए ऐसे पौधे चुने, जिनके लिए ज्यादा सूरज की रौशनी की जरूरत नहीं होती। बड़े प्यार से वह इन पौधों की देखभाल करती हैं। घर पर पड़े खाली डिब्बों को सजाकर भी उन्होंने कई पौधे उगाएं हैं।  

उनके पास फिलॉडेंड्रॉन, एन्थूरियम की किस्में, एग्लोनीमा और एलोकेशिया की भी कई किस्में हैं।  

गार्डनिंग (Home Gardening) बनी कमाई का जरिया 

home garden in ranchi

दीपिका साल 2017 से ही गार्डनिंग (Home Gardening) का यूट्यूब चैनल चला रही हैं। लेकिन उस समय कॉलेज और पढ़ाई के कारण वह ज्यादा वीडियो नहीं बना पाती थीं। वहीं पिछले साल लॉकडाउन में उन्होंने ज्यादा वीडियोज़ बनाकर अपलोड करना शुरू किया। जिसकी वजह से उनके सब्सक्राइबर की संख्या भी बढ़ने लगी। फ़िलहाल तक़रीबन सात हजार से ज्यादा लोग उनको यूट्यूब चैनल को फॉलो करते हैं। वह इसके जरिए कुछ पैसे भी कमा लेती हैं। 

beautiful garden with lots of plants

चैनल पर हैं 200 वीडियोज़


वह अब तक 200 वीडियोज़ अपने चैनल में अपलोड कर चुकी हैं। जिसमें से उनका DIY प्लांटर बनाने वाले वीडियो को दो लाख से ज्यादा लोगों ने पसंद किया है। इसके अलावा पौधों को चीटियों से बचाने और इंडोर प्लांट्स की देखभाल वाले वीडियो को भी लोगों ने खूब पसंद किया है। 

दीपिका कहती हैं, “पिछले साल मैंने अपनी पॉकेटमनी के लिए कुछ पौधों को बेचना भी शुरू किया था। चूंकि मेरे पास इन सजावटी पौधों की कई किस्में मौजूद हैं, जो आजकल महंगे दामों में बिकती हैं। इसलिए मैंने घर पर ही पौधों को प्रोपोगेट करके बेचना शुरू किया।”

वह अलग-अलग गार्डनिंग (Home Gardening) ग्रुप में जानकारी देती हैं और जो पौधे उनके गार्डन में ज्यादा होते हैं, उनको वह प्रोपोगेट करके छोटे पौधे बनाती हैं। जिसके बाद वह इन पौधों को ग्राहकों तक पहुंचातीं हैं। इस तरह वह महीने के तक़रीबन 10 से 15  हजार रुपये आराम से कमा लेती हैं। 

दीपिका कहती हैं कि सब्जियों के पौधों में ज्यादा देखरेख की जरूरत होती है, जबकि इन सजावटी पौधों की देखभाल में ज्यादा समय नहीं लगता है, इसलिए वह अपनी पढ़ाई के साथ-साथ ये सारा काम कर पाती हैं। 

Home Gardening in Ranchi
Dipika’s Garden

जिस तरह दीपिका ने अपने शौक को अपना पार्ट टाइम काम बनाया है, यह देखकर उनके घरवालों को भी काफी ख़ुशी मिलती है। उनके घर में कुछ पुराने फल के पेड़ भी मौजूद हैं, जो उनके माता-पिता ने लगाएं हैं। जिमसे अमरुद,पपीता, आम, अनार, कटहल जैसे पेड़ शामिल हैं। इसके अलावा दीपिका ने मेंहदी, तुलसी, नीम, टमाटर और कुछ और हर्ब्स भी लगाए हैं।

हमें उम्मीद है कि दीपिका की यह कहानी पढ़ने के बाद आप भी अपने घर के खाली जगहों को फूल-पौधों से जरूर भर देंगे। 

दीपिका का यूट्यूब चैनल देखने के लिए यहां क्लिक करें।

हैप्पी गार्डनिंग! 

संपादन- जी एन झा

यह भी पढ़ें – 65 की उम्र में दादी माँ के नुस्खों से छत पर करती हैं 150+ पौधों की देखभाल

यदि आपको इस कहानी से प्रेरणा मिली है, या आप अपने किसी अनुभव को हमारे साथ साझा करना चाहते हो, तो हमें hindi@thebetterindia.com पर लिखें, या Facebook और Twitter पर संपर्क करें।

We at The Better India want to showcase everything that is working in this country. By using the power of constructive journalism, we want to change India – one story at a time. If you read us, like us and want this positive movement to grow, then do consider supporting us via the following buttons:

Let us know how you felt

  • love
  • like
  • inspired
  • support
  • appreciate
X