COVID की तीसरी लहर से कैसे करें बचाव, बता रहे हैं श्वास-रोग विशेषज्ञ

छत्तीसगढ़ के प्रसिद्ध श्वास-रोग विशेषज्ञ डॉ. गिरीश अग्रवाल का कहना है कि संभावित तीसरी लहर पर सबसे ज़्यादा जरुरी है, एहतियात एवं जागरूकता। जिस नए डेल्टा प्लस वैरिएंट की बात हो रही है, वह निश्चित ही घातक है, वायरस में नियमित अनुवांशिक बदलाव हो रहे हैं, जिससे सावधान रहना बहुत जरुरी है।

देश भर में कोरोना के मामले थोड़े कम होते ही, लापरवाहियों का अंबार सा लग जाता है। पिछले कुछ दिनों में हमने देश के अलग-अलग हिस्सों से कुछ अच्छी तो, कुछ परेशान कर देने वाली तस्वीरें देखी। एक ओर जहां कोरोना की तीसरी लहर (Third Wave Of COVID) का खतरा धीरे-धीरे बढ़ने लगा है। तो वहीं दूसरी लहर के कमज़ोर पड़ने के बाद मिली छूट का लोग नाजायज़ फायदा उठाते नज़र आए।

मनाली की भीड़-भाड़ वाली वायरल फोटो ने प्रशासन,आम लोग व कोरोना संक्रमितों को ठीक करने में दिन-रात लगे डाक्टर्स, सबकी चिंता बढ़ा दी। वहीं हिमाचल प्रदेश के धर्मशाला की एक वायरल वीडियो ने सबका ध्यान अपनी ओर खींचा। एक 7 साल के बच्चे की, हाथ में डंडा लेकर लोगों को मास्क लगाने की हिदायत देती, सुकून भरे इस वीडियो ने सबका ध्यान अपनी ओर खींचा।

सतर्कता हम सबकी ज़िम्मेदारी

अगर एक छोटे से बच्चे में इतनी समझ है और अपनी ही नहीं, दूसरों की भी चिंता है। तो ऐसे में, देश के हर नागरिक को आगे आकर कोरोना को हराने की जिम्मेदारी लेनी चाहिए। डॉक्टर्स की मानें, तो अब तीसरी लहर का असर भी कहीं-कहीं दिखने लगा है। हालांकि, अभी हालात काबू में हैं, लेकिन सतर्कता बेहद ज़रूरी है। इसे देखते हुए, द बेटर इंडिया ने श्वास-रोग विशेषज्ञ डॉ. गिरीश अग्रवाल से बात की।

छत्तीसगढ़ के प्रसिद्ध श्वास-रोग विशेषज्ञ डॉ. गिरीश अग्रवाल का कहना है, “संभावित तीसरी लहर पर सबसे ज़्यादा जरुरी है, एहतियात एवं जागरूकता। जिस नए डेल्टा प्लस वैरिएंट की बात हो रही है, वह निश्चित ही घातक है। वायरस में नियमित आनुवांशिक बदलाव हो रहे हैं, जिससे सावधान रहना बहुत जरुरी है। तीसरी लहर की संभावनाओं के मद्देनज़र, लोगों से अपील है कि पूर्व में हुई गलतियां बिल्कुल न दोहराएं। थोड़ी भी लापरवाही विकराल रूप ले सकती है, अतः सावधानी बरतना बेहद ज़रूरी है।”

बेवजह न लें हाई पावर दवा

डॉ. गिरीश ने कहा, “कोरोना के मामले कम ज़रूर हुए हैं, लेकिन कोरोना अभी ख़त्म नहीं हुआ है। ज़रुरी है कि हम भीड़-भाड़ वाली जगहों में जाने से बचें और बिना मास्क पहने घर से बाहर न निकलें। वैक्सीन लेने का मतलब यह बिल्कुल नहीं है कि आपको कोरोना नहीं हो सकता। वैक्सीन, गाड़ी के सीट बेल्ट या हेलमेट की तरह है। जिसे लगाने के बाद भी दुर्घटना हो सकती है। हां, बस खतरा थोड़ा कम रहेगा।” उन्होंने अपील की, कि वैक्सीन लगवाने के बाद भी नियमों का पालन कड़ाई से करें।

उन्होंने कहा कि कोविड की दूसरी लहर में यह देखा गया कि अधिकांश मरीज़ या उनके परिजन कोरोना के इलाज के दौरान, डॉक्टर्स को हाई पावर दवा देने के लिए कह रहे थे। लोगों को यह समझना होगा कि आप स्वयं एक्सपर्ट न बनें और अपने डॉक्टर एवं विशेषज्ञ की बात पूरी तरह से मानें। अगर आपको हाई पावर दवा की जरुरत नहीं है, तो ज़बरदस्ती उसे न लें। क्योंकि, भविष्य में उसके घातक परिणाम भी हो सकते हैं।

इन बातों का रखें ध्यान

डॉ. गिरीश अग्रवाल ने नियमित रूप से इन खास बातों का ध्यान रखने की भी सलाह दीः

  • खान-पान में ज्यादा से ज्यादा पौष्टिक चीज़े शामिल करें, हरी व रेशेदार सब्जियां खाएं।
  • समय से सोएं, सुबह नियमित व्यायाम करें और मानसिक रूप से खुद को स्वस्थ व प्रसन्नचित रखें।
  • घर के सदस्यों के साथ सकारात्मक बातों पर चर्चा कर, एक खुशहाल माहौल बनाकर रखें।

कोरोना की तीसरी लहर का आना, न आना हमारी आदतों व सतर्कताओं पर निर्भर करता है। हमें सावधान एवं जागरूक रहना होगा, तीसरी लहर से जुड़ी अफवाहों से दूर रहना होगा। 

आखिर में गिरीश अग्रवाल ने कहा, “कोविड से संक्रमित हर मरीज को अस्पताल जाने की जरुरत नहीं होती। लक्षण दिखने पर डॉक्टर से सुझाव लें और उनके द्वारा बताए गए प्रीकॉशंस और दवाओं को ध्यान से लेते रहें। ऑक्सीजन लेवल को मॉनिटर करते रहें और डाउन होने पर ही अस्पताल जाएं। बेवजह मरीज़ और उनके परिजन, अस्पताल व दवाइओं के पीछे न भागें। आपकी सावधानी और समझदारी कइयों की जान बचा सकती है।

संपादनः अर्चना दुबे

यह भी पढ़ेंः दो साल पहले शुरू किया सफर और अब जी रहा हूँ ‘सिंगल यूज प्लास्टिक फ्री’ लाइफस्टाइल

यदि आपको इस कहानी से प्रेरणा मिली है, या आप अपने किसी अनुभव को हमारे साथ साझा करना चाहते हो, तो हमें hindi@thebetterindia.com पर लिखें, या Facebook और Twitter पर संपर्क करें।

We at The Better India want to showcase everything that is working in this country. By using the power of constructive journalism, we want to change India – one story at a time. If you read us, like us and want this positive movement to grow, then do consider supporting us via the following buttons:

Let us know how you felt

  • love
  • like
  • inspired
  • support
  • appreciate
X