बेटी के आख़िरी चार सपने पूरे करने निकला था यह पिता; हज़ारों बच्चों की दुआएं लिए चला है आज भी! मोईनुद्दीन चिश्ती
हिमाचल प्रदेश : जो गाँववाले अस्पताल तक नहीं पहुँच सकते, उनके घर तक पहुँच रहा है यह मोबाइल अस्पताल! जिनेन्द्र पारख