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पूरी दुनिया घूम चुका यह शेफ, मुंबई की सड़कों पर बेचता है फाइव-स्टार बिरयानी, जानिए क्यों

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मुंबई के अक्षय पारकर पहले इंटरनेशनल क्रूज में बतौर शेफ नौकरी कर चुके हैं, लेकिन कोरोना महामारी के कारण उनकी नौकरी छिन गई। अचानक अपनी नौकरी छिन जाने के कारण, वह काफी हताश हो गए। लेकिन, उन्होंने हिम्मत नहीं हारी और खुद का वेंचर “5 स्टार बिरयानी” शुरू करने का फैसला किया।

सड़क किनारे खाना अक्सर बीमारियों का घर माना जाता है, लेकिन मुंबई के दादर स्थित यह फूड वेंडर, अपने ग्राहकों को सड़क के किनारे फाइव-स्टार क्वालिटी में खाना उपलब्ध करा रहा है। 

इस फूड वेंचर की शुरूआत 29 वर्षीय अक्षय पारकर ने की है। अक्षय पहले ताज ग्रुप ऑफ होटल्स और इंटरनेशनल क्रूज में बतौर शेफ नौकरी कर चुके हैं, लेकिन कोरोना महामारी के कारण उनकी नौकरी छीन गई। अचानक अपनी नौकरी छीन जाने के कारण, वह काफी हताश हो गए। लेकिन, उन्होंने हिम्मत नहीं हारी और खुद का वेंचर “’5 स्टार बिरयानी” शुरू करने का फैसला किया।

इसे लेकर अक्षय ने द बेटर इंडिया को बताया, “मेरे माता-पिता की तबीयत पिछले कुछ समय से खराब चल रही है। मेरी माँ का घुटना टूटा हुआ है और कोहनी में चोट है और दोनों का ऑपरेशन हुआ है। हमारा एक आटा मिल था, लेकिन इसके बंद होने के बाद पिता जी के पास भी कोई काम नहीं रह गया और वह वर्षों से टीबी से जूझ रहे हैं।”

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अक्षय जब इंटरनेशनल क्रूज में बतौर शेफ काम करते थे।

लगातार बीमारियों के कारण, अक्षय के घर की आर्थिक स्थिति काफी खराब हो गई थी और उन्होंने इससे निपटने के लिए वही किया जो वह सबसे अच्छा कर सकते थे।

अपने परिवार की पूरी जिम्मेदारी के साथ, अक्षय ने एयरलाइन्स क्षेत्र में काम करने के उद्देश्य से साल 2010 में, ताज ग्रुप ऑफ होटल्स में इंटर्नशिप की। इस तरह, साल 2013 में उन्हें इंटरनेशनल क्रूज के साथ एक अनुबंध प्राप्त हुआ।

“मुझे हर महीने 1,000 डॉलर मिल रहे थे। लेकिन, मेरे सारे पैसे इलाज में खर्च हो जाता थे। अधिक उम्र और पहले की बीमारियों के कारण, मेरे माता-पिता स्वास्थ्य बीमा के योग्य नहीं थे, जिससे इलाज और अधिक महँगा हो गया,” अक्षय कहते हैं।

अक्षय कहते हैं कि सामान्य तौर पर, सबकुछ ठीक-ठाक चल रहा था। इसी बीच, कोरोना महामारी शुरू हो गई और उनके साथ कई अन्य लोगों को नौकरी पर आने से मना कर दिया गया।

“मुझे लगा कि वर्षों के संघर्ष के बाद, मैं अपने माता-पिता के इलाज के लिए कुछ और पैसे बचा पाऊँगा, लेकिन मेरे पास सेविंग के नाम पर सिर्फ 20 हजार रुपए ही बचे थे। परिवार में, माँ और पापा के अलावा सिर्फ मैं ही हूँ। उन्हें संभालने के लिए मुझे कुछ न कुछ तो करना ही था,” वह कहते हैं।

इसके बाद, उन्होंने अपने कूकिंग स्किल का इस्तेमाल करते हुए, अपने परिवार का देखभाल करने का फैसला किया।

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अक्षय का बिरयानी स्टॉल

वह बताते हैं, “मेरा एक पड़ोसी बड़ा पाव का ठेला लगाता था। उसने अपना दुकान बंद कर दिया था और वह मुझे अपनी जगह देने के लिए तैयार हो गया। इसके बाद मैंने बिरयानी का काम शुरू किया। मैं घर से ही बिरयानी तैयार करके ले जाता हूँ और शाम में नुक्कड़ पर बेचता हूँ।”

अक्षय ने अपने इस बिजनेस को शुरू करने के लिए कई दोस्तों और रिश्तेदारों से मदद माँगी, लेकिन परिस्थितियाँ खराब होने के कारण, कोई इसके लिए तैयार नहीं हुआ।

सितंबर के पहले हफ्ते के दौरान अक्षय ने 10,000 रुपये खर्च किए। चिकन और मटन बिरयानी के अलावा, उनके पास वेज और पनीर का भी विकल्प है, जिसे वह क्रमशः 800 रुपये और 1,200 रुपये प्रति किलोग्राम की दर पर बेचते हैं। अक्षय चिकन बिरयानी 900 रुपये किलो, जबकि मटन बिरयानी 1,500 रुपये बेचते हैं।

अक्षय के पास रोजाना करीब 30 ग्राहक आते हैं और वह अपने ग्राहकों के लिए, बिरयानी के अलावा, पर्सनल ऑर्डर पर बटर चिकन, उत्तर भारतीय, जैसे कई अन्य चीजों को भी बनाते हैं।शुरूआती दिनों में अक्षय हर दिन करीब 5 किलो बिरयानी बेचते थे, लेकिन आज वह 7 किलो बिरयानी बेच डालते हैं।

वह कहते हैं, “हमारे पास वीकेंड के दौरान अधिक ग्राहक होते हैं। मुझे अभी मुझे ज्यादा लाभ नहीं हो रहा है, क्योंकि मैं अभी वही क्वालिटी मेंटेन कर रहा हूँ, जिसे मैंने फाइव-स्टार होटल में सीखे हैं।”

अक्षय, फिलहाल नए जगह की तलाश में हैं, जहाँ से वह अपने बिजनेस को और आगे बढ़ा सकें। उनकी ऑनलाइन फूड ऐप पर भी रजिस्ट्रेशन की कोशिश जारी है और वह जल्द ही ऑनलाइन ऑर्डर लेना शुरू कर देंगे।

एक और खास बात है कि अक्षय ने अभी तक मार्केटिंग पर कोई खर्च नहीं किया है और उनके दोस्तों और चचेरी बहनों ने व्हाट्सएप और सोशल मीडिया के जरिए प्रचार करने में उनकी मदद की।

अक्षय द्वारा निर्मित चिकन बिरयानी

इसे लेकर अक्षय की चचेरी बहन आरती कहती हैं, “मैंने अक्षय के बिरयानी को आजमाने और हाइजीन के उनके उच्च मानकों को देखते हुए, फेसबुक और व्हाट्सएप पर इसके बारे में पोस्ट किया, ताकि अधिक से अधिक लोगों को इसके बारे में पता चले। मुझे खुशी है कि इससे अक्षय को अपना बिजनेस बढ़ाने में काफी मदद मिली।” 

अब अक्षय का इरादा अपने बिजनेस को ही नया आयाम देने का है और वह दोबारा नौकरी नहीं करना चाहते।

अक्षय अंत में कहते हैं, “मैंने अपनी ग्लैमरस नौकरी पर वापस जाने के बजाय, अपने बिजनेस को जारी करने का फैसला किया है। मेरे माता-पिता को भी मेरी सख्त जरूरत है और उनके स्वास्थ्य को देखते हुए, यह जोखिम नहीं उठा सकता।”

आप अक्षय से 09869361451 पर संपर्क कर सकते हैं।

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संपादन: जी. एन. झा

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