फोगाट बहनों के बाद हरियाणा की इन तीन बहनों ने सेना में भर्ती होकर खड़ी की एक नयी मिसाल!

जिस तरह महावीर सिंह फोगाट ने धकियानुसी परंपराओं को ताक पर रखकर अपनी बेटियों तथा भतीजियों को पहली बार अखाड़े में भेजा था उसी तरह झज्जर के खेड़का गुर्जर गांव के किसान प्रताप सिंह देशवाल ने भी अपनी बेटी प्रीती और दीप्ती तथा अपनी भतीजी ममता को सेना में भेजा है।

रियाणा एक ऐसा राज्य है जो आज तक लड़कियों के ऊपर अत्याचार और भ्रूण हत्या के लिए अधिक जाना जाता था। पर आज सूरत बदल चुकी है। पहले रिओ में भारत का परचम लहराने वाली साक्षी मलिक और अब फोगाट बहनों पर बनी फिल्म ‘दंगल’ की वजह से  इस राज्य की ओर देखने का लोगो का नज़रिया बिलकुल बदल चूका है।

इसी परंपरा को आगे बढ़ाते हुए हरयाणा की और तीन बहनों ने इस राज्य का नाम रौशन किया है। ये तीनो ही बहने भारतीय सेना में शामिल हो चुकी है।

Representational image source – defenceforumindia

जिस तरह महावीर सिंह फोगाट ने धकियानुसी परंपराओं को ताक पर रखकर अपनी बेटियों तथा भतीजियों को पहली बार अखाड़े में भेजा था उसी तरह झज्जर के खेड़का गुर्जर गांव के किसान प्रताप सिंह देशवाल ने भी अपनी बेटी प्रीती और दीप्ती तथा अपनी भतीजी ममता को सेना में भेजा है।

प्रताप सिंह के परिवार से आज तक कोई भी सेना में नहीं गया था। पर उनकी बेटियां बचपन से ही सेना में भर्ती होना चाहती थी। समाज की परवाह न करते हुए प्रीती और दीप्ती के पिता ने उन्हें बेटों की तरह पाला। यही नहीं भतीजी ममता को भी उन्होंने ही पढ़ाया। एक किसान होते हुए भी उन्होंने तीनो बच्चियों को महँगी से महँगी शिक्षा लेने से नहीं रोका।

इन तीनों ने अलग-अलग आर्मी मेडिकल कॉलेज में पढ़ाई की है। और अब ये तीनो आर्मी मेडिकल काॅर्प्स में लेफ्टिनेंट बन गयी हैं। प्रीति वैलिंग्टन ऊटी, दीप्ति आगरा और ममता रानीखेत के मिलिट्री हॉस्पिटल में काम करेंगी।

इन तीनो बहनों की इस उपलब्धि पर पूरा परिवार गर्व महसूस कर रहा है।

आशा है हरयाणा की इन बेटियों द्वारा शुरू की गयी ये बेहतरीन पहल एक परंपरा की तरह चलती रहेगी।

 

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